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संजय सिन्हा की कहानी: व्यवहार से बड़ा कोई धन नहीं

संजय सिन्हा की कहानी: व्यवहार से बड़ा कोई धन नहीं

24 साल पहले मैंने अपने लिए एक फ्लैट खरीदा था जिसके लिए 2 लाख रुपये नकद देने थे. उन पैसों को लेने मैं अपने पिता के साथ बैंक गया और पैसे निकाल लाया. घर आकर देखा कि बैंक में बैठे उस शख्स ने हमें 2 की जगह 3 लाख रुपये दे दिए हैं, उन पैसों को लेकर हम वापिस बैंक गए और उस शख्स को यह बात बताई कि उन्होंने एक लाख रुपये हमें ज्यादा दे दिए हैं. देखें- 'संजय सिन्हा की कहानी' का ये पूरा वीडियो.

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