साइबर क्राइम (Cyber Crime) एक कंप्यूटर या कंप्यूटर नेटवर्क से जुड़ा अपराध है. कंप्यूटर का उपयोग अपराध करने में किया जाता है. साइबर अपराध किसी की सुरक्षा या वित्त को नुकसान पहुंचा सकता है.
अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कुछ आपराधिक प्रवृति के लोग साइबर अपराधों में संलग्न होते हैं, जिनमें जासूसी, वित्तीय चोरी और अन्य सीमा पार अपराध शामिल हैं. अंतरराष्ट्रीय सीमाओं को पार करने वाले या एक राष्ट्र-राज्य के कार्यों को शामिल करने वाले साइबर अपराध को कभी-कभी साइबर युद्ध कहा जाता है (Cyber War).
वॉरेन बफेट एक अमेरिकी बिजनेस मैग्नेट और निवेशक हैं. वह वर्तमान में बर्कशायर हैथवे के अध्यक्ष और सीईओ हैं. वारेन बफेट साइबर अपराध को 'मानवता के साथ नंबर एक समस्या' के रूप में वर्णित करते हैं और उनका कहना है कि यह 'मानवता के लिए वास्तविक जोखिम पैदा करता है' (Warren Buffett on Cyber Crime).
McAfee ने 2014 में एक रिपोर्ट प्रायोजित किया और अनुमान लगाया गया कि साइबर क्राइम के कारण वैश्विक अर्थव्यवस्था को 445 बिलियन डॉलर का वार्षिक नुकसान हुआ है. 2012 में यूएस में ऑनलाइन क्रेडिट और डेबिट कार्ड धोखाधड़ी के कारण लगभग 1.5 बिलियन डॉलर का नुकसान हुआ. 2018 में, सेंटर फॉर स्ट्रेटेजिक एंड इंटरनेशनल स्टडीज (CSIS) ने McAfee के साथ साझेदारी में किए गए एक अध्ययन से निष्कर्ष निकाला कि वैश्विक सकल घरेलू उत्पाद (GDP) का लगभग 1 फीसदी, लगभग 600 बिलियन डॉलर, हर साल साइबर क्राइम के कारण खो जाता है. वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम 2020 ग्लोबल रिस्क रिपोर्ट ने पुष्टि की कि संगठित साइबर अपराध समूह आपराधिक गतिविधियों को ऑनलाइन करने के लिए सेना में शामिल हो रहे हैं, जबकि अमेरिका में उनकी पहचान और अभियोजन की संभावना 1 फीसदी से कम होने का अनुमान है (Reports on Cyber Crime).
पंजाब के पूर्व आईजी अमर सिंह चहल साइबर ठगी का शिकार हुए और 8 करोड़ 10 लाख रुपए गंवा बैठे. ठगों ने खुद को बैंक अधिकारी और वेल्थ एडवाइजर बताया और निवेश का झांसा दिया. शुरुआत में थोड़े मुनाफे दिखाए गए, लेकिन बाद में बड़ी रकम ट्रांसफर करवाई गई. अमर सिंह ने तीन बैंक खातों से कुल 7 करोड़ रुपए उधार लेकर भेजे. ठगी के बाद, उन्होंने डीजीपी को 12 पन्नों का सुसाइड नोट लिखा और खुद को गोली मारकर आत्महत्या की कोशिश की.
आज देशभर में ना जाने कितने लोग साइबर फ्रॉड का शिकार होकर, अपने करोड़ों रुपए गंवाकर, पुलिस के सामने और थानों के अंदर धक्के खा रहे हैं. सवाल यही है कि जिस तरह साइबर ठग अपना दायरा बढ़ा रहे हैं, क्या सरकार लोगों को नए ज़माने के नए ठगों के बचाने के लिए कोई पुख्ता इंतज़ाम कर रही है? देखें साइबर ठगी का शिकार लोगों की पीड़ा पर 10 तक.
देशभर में MHA-I4C विंग ने साइबर फ्रॉड से परिचित लोगों को 7130 करोड़ रुपए से बचाया है. राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में दिल्ली पुलिस भी डिजिटल अरेस्ट और इन्वेस्टमेंट फ्रॉड से सुरक्षा के लिए महत्वपूर्ण कदम उठा रही है. इस विषय पर आजतक संवाददाता जितेंद्र बहादुर सिंह ने दिल्ली पुलिस के IFSO/साइबर सेल के डीसीपी विनीत कुमार से विशेष बातचीत की.
दिल्ली में इंश्योरेंस पॉलिसी सेटलमेंट के नाम पर ठगी का बड़ा खेल उजागर हुआ है. नकली कॉल सेंटर चलाकर लोगों से करीब 1 करोड़ रुपए ऐंठने वाले गिरोह का दिल्ली पुलिस ने भंडाफोड़ किया है. RBI, IRDAI और दिल्ली हाई कोर्ट के फर्जी दस्तावेजों के जरिए भरोसा जीतकर ठगी को अंजाम दिया जा रहा था.
ठाणे में साइबर ठगों ने फॉरेक्स और कमोडिटी ट्रेडिंग में हाई रिटर्न का झांसा देकर 38 वर्षीय युवक से 17.61 लाख रुपये की ठगी कर डाली. पुलिस ने आईटी एक्ट के तहत मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है.
झारखंड के धनबाद में पुलिस ने साइबर अपराधियों के खिलाफ महत्वपूर्ण और बड़ी सफलता हासिल की है. इस रिपोर्ट में बताया गया है कि किस तरह पुलिस ने तकनीकी और कड़ी मेहनत से अपराधियों को पकड़ने में सफलता पाई है. साइबर अपराधों से निपटने के लिए पुलिस अपने प्रयासों को लगातार बढ़ा रही है.
गृह मंत्रालय की I4C साइबर विंग ने देशभर में अभियान चलाकर 23 लाख शिकायतों पर कार्रवाई की. 7130 करोड़ रुपये की ठगी रोकी गई. 11 लाख से ज्यादा फर्जी सिम, 2.96 लाख IMEI और 32 लाख म्यूल बैंक खाते बंद किए गए.
साइबर क्रिमिनल्स ने एक पूर्व IPS ऑफिसर के साथ 8.10 करोड़ रुपये की ठगी को अंजाम दिया, जिसके बाद उन्होंने खुद को गोली मार ली. साइबर ठगों ने पूर्व पुलिस अफसर को धोखा देने के लिए बड़े ही शातिर तरीके से काम किया. इसमें उन्होंने जाने-माने CEO का फोटो को WhatsApp पर यूज किया. इसके बाद फेक डैशबोर्ड और फेक वर्चुअल वॉलेट तैयार किया. आइए इसके बारे में डिटेल्स में जानते हैं.
WhatsApp और Telegram पर फर्जी investment group बनाकर मशहूर CEO की फोटो से 8.10 करोड़ की cyber ठगी. Fake dashboard, daily profit promises और SEBI alert जानें, scam से कैसे बचें.
Ex IPS Amar Singh Chahal: पटियाला में पूर्व पुलिस अधिकारी अमर सिंह चहल ने खुद को गोली मार ली. एक नोट में उन्होंने साइबर ठगों पर 8.10 करोड़ रुपए की ठगी का आरोप लगाया है. गंभीर हालत में अस्पताल में भर्ती अमर चहल ने फाइनेंशियल फ्रॉड, मानसिक दबाव और शर्मिंदगी का दर्द बयां किया है.
यूपी की राजधानी लखनऊ से बेहद हैरान कर देने वाली कहानी सामने आई है. खुद को CBI अफसर बताकर साइबर ठगों ने 75 साल की बुजुर्ग महिला को डिजिटल अरेस्ट कर लिया. ठगों ने महिला को इस कदर सहमा दिया कि वह डेढ़ करोड़ रुपये की एफडी तुड़वाने बैंक तक पहुंच गई. आतंकी फंडिंग और आधार के दुरुपयोग जैसी बातों से जालसाजों ने महिला को खौफ से भर दिया.
रिटायर्ड इंजीनियर रमेश चंद्र और उनकी पत्नी को ठगों ने 70 दिनों तक डिजिटल अरेस्ट रखा. सीबीआई अधिकारी बन ठगों ने बच्चों की जान का डर दिखाकर 53 लाख रुपये लूट लिए. घर में कैद दंपती को वॉशरूम तक जाने के लिए वीडियो कॉल पर अनुमति लेनी पड़ती थी. अब पीड़ित के पास डायलिसिस कराने के पैसे भी नहीं बचे हैं.
बेंगलुरु में डिजिटल अरेस्ट स्कैम का एक सनसनीखेज मामला सामने आया है. यहां साइबर क्रिमिनल ने खुद को पुलिस अधिकारी बताकर 57 साल की महिला से 2.05 करोड़ रुपए से ज्यादा की ठगी कर ली. गिरफ्तारी की धमकी देकर महिला को प्रॉपर्टी बेचने और लोन लेने तक के लिए मजबूर किया गया.
नकली ट्रैवल बुकिंग वेबसाइट और फर्जी कस्टमर केयर का जाल बिछाकर US में रहने वाले एक व्यक्ति से ठगी करने वाले साइबर क्रिमिनल को दिल्ली पुलिस ने गिरफ्तार किया है. आरोपी ने खुद को Booking.com का एग्जीक्यूटिव बताकर OTP और UPI डिटेल्स हासिल कर ली. इसके बाद 57 हजार रुपए ठग लिए.
साइबर ठगी का एक अनोखा केस सामने आया है, जो पूरे 5 साल तक चला. विक्टिम ने इस पूरे मामले में टोटल 75 लाख रुपये की ठगी का सामना किया. विक्टिम को ऑनलाइन बेटिंग की मदद से मोटी कमाई करने का लालच दिया और आखिर में जाकर विक्टिम का बैंक खाता खाली कर दिया. आइये इसके बारे में डिटेल्स में जानते हैं.
दिल्ली पुलिस ने ट्रांस-नेशनल साइबर सिंडिकेट और मनी लॉन्ड्रिंग रैकेट का बड़ा खुलासा किया है. द्वारका के एक होटल से ऑपरेट हो रहे इस सिंडिकेट के 9 सदस्यों को गिरफ्तार किया गया है. आरोप है कि गैंग ने हैक किए गए बैंक अकाउंट के ज़रिए 5.24 करोड़ रुपए से ज्यादा की अवैध ट्रांज़ैक्शन की है.
साइबर ठगों ने दिल्ली के एक 82 साल के बुज़ुर्ग को मानसिक दबाव में लेकर डिजिटल अरेस्ट कर लिया. वीडियो कॉल पर खुद को पुलिस अफसर बताकर नकली अरेस्ट ऑर्डर दिखाया गया और कानून के डर से बुज़ुर्ग से 1.16 करोड़ रुपए ट्रांससफर करवा लिए गए. इस सनसनीखेज ठगी का बड़ा नेटवर्क सामने आया है.
आगरा में एक महिला को फेसबुक लिंक से व्हाट्सएप ग्रुप में जोड़ा गया और फर्जी निवेश ऐप डाउनलोड करवाए गए. ठगों ने एसबीआई सिक्योरिटीज, स्टैंडर्ड चार्टर्ड जैसे नाम इस्तेमाल कर 24 अक्टूबर से 27 नवंबर के बीच उनसे ₹5.95 करोड़ रुपये ठग लिए. प्रॉफिट निकालने पर 'रिफंड चार्जेस' मांगे गए, तब 1 दिसंबर को महिला को ठगी का एहसास हुआ.
गुजरात के वलसाड के 60 साल के व्यक्ति को शेयर बाजार में निवेश का झांसा देकर 2.52 करोड़ रुपये की ठगी का शिकार बनाया गया. यूट्यूब वीडियो के लिंक से शुरू हुई बात व्हाट्सऐप ग्रुप तक पहुंची, जहां ठगों ने फर्जी यूके-आईएनडी फास्ट ट्रेडिंग ऐप इंस्टॉल कराकर निवेश करवाया. जिसके बाद करोड़ों रुपये उड़ा लिए गए.
नूंह में सोमवार देर शाम उस वक्त अफरातफरी मच गई, जब साइबर फ्रॉड के आरोपी रियाज़ को पकड़ने पहुंची पुलिस टीम पर अचानक गांववालों ने पथराव शुरू कर दिया. चार पुलिसवाले बुरी तरह घायल हो गए और भीड़ आरोपी को छुड़ाकर ले गई. यह एक महीने में दूसरा ऐसा हमला है, जिसने पूरे जिले की कानून-व्यवस्था पर सवाल खड़े कर दिए हैं.
साइबर ठगी का नया केस सामने आया है, जहां एक महिला को शुरुआत में 3900 रुपये का रिटर्न दिया और आखिर में 31 लाख रुपये बैंक खाते से उड़ा लिए हैं. साइबर ठगी की शुरुआत टास्क स्कैम से हुई, जहां महिला को वर्क फ्रॉम होम का लालच दिया. आखिर में महिला को करोड़पति बनने के सपने दिखाए गए. आखिर में महिला के बैंक खाते से 31 लाख रुपये उड़ा लिए.