कालाष्टमी (Kalashtami) हिंदू धर्म में एक महत्वपूर्ण दिन है. यह भगवान शिव के एक रूप भैरव को समर्पित है. यह हर महीने के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को मनाई जाती है. कालाष्टमी पर भक्त भगवान भैरव की पूजा करते हैं और रात्रि में जागरण करते हैं. इस दिन भक्त भगवान भैरव की मूर्ति या तस्वीर की पूजा करते हैं. उन्हें काले तिल, तेल, नारियल, मिठाई और मदिरा चढ़ाई जाती है. भक्त पूरे दिन व्रत रखते हैं और रात्रि में जागरण करते हैं.
भगवान भैरव के वाहन कुत्ते माने जाते हैं, इसलिए इस दिन कुत्तों को भोजन कराना शुभ माना जाता है. भैरव जी की महिमा गाते हुए भक्त रातभर जागते हैं. भगवान भैरव को न्याय के देवता और दुष्टों का संहारक माना जाता है. उनकी पूजा से जीवन की बाधाएं दूर होती हैं और बुरी शक्तियों से रक्षा होती है. यह दिन आत्म-अनुशासन, संयम और आंतरिक शुद्धि का प्रतीक है.