हॉन्ग कॉन्ग में अप्रैल के आखिरी हफ्ते में इंसान में रैट हेपेटाइटिस-ई वायरस फैलने का एक मामला सामने आया है. इसके बाद स्वास्थ्य अधिकारियों ने लोगों को सतर्कता बरतने को कहा है. 2018 से अब तक हॉन्ग कॉन्ग में रैट हेपेटाइटिस-ई के 11 मामले सामने आ चुके हैं, लेकिन डॉक्टर भी नहीं समझ पा रहे हैं कि किस स्थिति इंसान इससे संक्रमित हो रहे हैं.
2018 से पहले तक स्वास्थ्य अधिकारियों को ये पता नहीं था कि चूहे इंसानों में हेपेटाइटिस-ई वायरस फैला सकते हैं. 2018 में एक संदिग्ध मरीज में लक्षण दिखने के बाद ही डॉक्टरों को इसको लेकर शक हुआ. तब तक रैट हेपेटाइटिस-ई की जांच करने के लिए टेस्ट भी डेवलप नहीं हुए थे.
हॉन्ग कॉन्ग यूनिवर्सिटी के रिसर्चर्स ने 2018 में रैट हेपेटाइटिस-ई की जांच के लिए टेस्ट डेवलप किया. अब कुल संक्रमित लोगों की संख्या 11 होने के बाद स्वास्थ्य मंत्रालय के तहत आने वाले सेंटर फॉर हेल्थ प्रोटेक्शन (CHP) ने मामलों की जांच शुरू कर दी है.
हेपेटाइटिस E लीवर की एक बीमारी है. इससे पीड़ित होने पर फीवर और जॉन्डिस भी हो सकता है. हेपेटाइटिस E के वायरस चार प्रकार के होते हैं जो अलग-अलग जीवों में पाए जाते हैं.