scorecardresearch
 
Advertisement
ट्रेंडिंग

ईरान के हाथ दुनिया की 'नब्ज', उठाया ये कदम तो हिल जाएंगे कई देश

ईरान के हाथ दुनिया की 'नब्ज', उठाया ये कदम तो हिल जाएंगे कई देश
  • 1/10
अमेरिका और ईरान में तनाव नया नहीं है. यह दशकों पुराना है. 3 जनवरी 2020 यानी आज हुई अमेरिकी स्ट्राइक के बाद इराकी मिलिशिया ने कहा कि इस एयर स्ट्राइक में इलाइट कुड्स फोर्स के हेड ईरानी मेजर जनरल कासिम सुलेमानी, इराकी मिलिशिया कमांडर अबू महदी अल-मुहांडिस समेत 7 लोगों की मौत हो गई है. इसके बाद अमेरिका और ईरान में तनाव बहुत ज्यादा बढ़ सकता है.
ईरान के हाथ दुनिया की 'नब्ज', उठाया ये कदम तो हिल जाएंगे कई देश
  • 2/10
फारस की खाड़ी में गंभीर परिणाम दिखेंगे

इससे पहले जब भी अमेरिका और ईरान के बीच तनाव बढ़ा है तब-तब फारस की खाड़ी में गंभीर परिणाम हुए हैं. इसका असर पूरी दुनिया पर पड़ता है. ईरान तत्काल यह चेतावनी दे सकता है कि अमेरिका से सैन्य तनाव बढ़ता है तो वह दुनिया की सबसे महत्वपूर्ण तेल धमनी कहे जाने वाले हॉर्मूज जलडमरूमध्य को बंद कर देगा. (फोटोः रायटर्स)
ईरान के हाथ दुनिया की 'नब्ज', उठाया ये कदम तो हिल जाएंगे कई देश
  • 3/10
हॉर्मूज बंद हुआ तो पूरी दुनिया में मचेगा हाहाकार

हॉर्मूज जलडमरूमध्य पर ईरान इसलिए दम भरता है क्योंकि यह ऐसी जगह है जो पूरी दुनिया के तेल व्यापार पर असर डालती है. यदि ईरान हॉर्मूज जलडमरूमध्य बंद करता है तो तेल के लिए दुनिया भर में हाहाकार मच जाएगा. (फोटोः रायटर्स)
Advertisement
ईरान के हाथ दुनिया की 'नब्ज', उठाया ये कदम तो हिल जाएंगे कई देश
  • 4/10
6 देश इसी रास्ते से करते हैं तेलों का निर्यात

ऐसा इसलिए कहा जा रहा है क्योंकि सऊदी अरब, इराक, UAE, कुवैत, कतर और ईरान का ज्यादातर तेल का निर्यात हॉर्मूज जलडमरूमध्य के जरिए होता है. (फोटोः रायटर्स)
ईरान के हाथ दुनिया की 'नब्ज', उठाया ये कदम तो हिल जाएंगे कई देश
  • 5/10
हर दिन होती है 15 मिलियन बैरल्स की सप्लाई

यहां से हर दिन करीब 15 मिलियन बैरल्स प्रतिदिन तेल की सप्लाई होती है. यदि यह बंद होता है तो यूएस, यूके समेत कई देशों में तेल की किल्लत हो जाएगी. तेल के दाम बढ़ेंगे. साथ ही खाड़ी देशों में हालात बिगड़ेंगे और संघर्ष की स्थिति पैदा होगी. (फोटोः रायटर्स)

ईरान के हाथ दुनिया की 'नब्ज', उठाया ये कदम तो हिल जाएंगे कई देश
  • 6/10
अगर माहौल बिगड़ा तो खाड़ी युद्ध की आशंका

अमेरिका और ईरान के बीच बनी स्थिति एक और खाड़ी युद्ध की ओर इशारा कर रही है. यदि ऐसा होता है तो भारत और चीन के लिए मुश्किल खड़ी हो सकती है. क्योंकि चीन और भारत दोनों के सामने ऊर्जा सुरक्षा को लेकर एक और चुनौती पैदा हो गई है. (फोटोः रायटर्स)
ईरान के हाथ दुनिया की 'नब्ज', उठाया ये कदम तो हिल जाएंगे कई देश
  • 7/10
80 के दशक में हुआ था टैंकर वॉर

1980-1988 में ईरान-इराक युद्ध के वक्त दोनों देशों ने एक दूसरे के तेल एक्सपोर्ट को निशाना बनाया था. जिसे मीडिया में टैंकर वॉर नाम दिया गया था. उस समय भी हॉर्मूज जलडमरूमध्य से तेल व्यापार काफी प्रभावित हुआ था. (फोटोः रायटर्स)
ईरान के हाथ दुनिया की 'नब्ज', उठाया ये कदम तो हिल जाएंगे कई देश
  • 8/10
तब अमेरिका ने युद्धपोत खाड़ी में उतारे थे

इसके बाद अमेरिका ने बहरीन में यूएस फिफ्थ फ्लीट (युद्धपोतों के बेड़े) को व्यापारी जहाजों की सुरक्षा के लिए फारस की खाड़ी में उतारा था. यूएस फिफ्थ फ्लीट की यह जिम्मेदारी थी कि हॉर्मूज जलडमरूमध्य में तेल के व्यापार को सुचारू रूप से चलाए. (फोटोः रायटर्स)
ईरान के हाथ दुनिया की 'नब्ज', उठाया ये कदम तो हिल जाएंगे कई देश
  • 9/10
ईरान ने शुरू करके बंद किया था परमाणु प्रोग्राम

अमेरिका की दखल अंदाजी के बाद ईरान के न्यूक्लियर प्रोग्राम को शुरू करने की कोशिश की. लेकिन अंतरराष्ट्रीय दबाव के कारण अमेरिका ने इस पर लगाम कस दी. फिर 2015 में अमेरिका ने ईरान के साथ किए गए परमाणु करार से खुद को अलग कर लिया था.
Advertisement
ईरान के हाथ दुनिया की 'नब्ज', उठाया ये कदम तो हिल जाएंगे कई देश
  • 10/10
परमाणु संधि में लगाया गया था ईरान पर प्रतिबंध

यह परमाणु करार साल 2015 में ईरान और 6 वैश्विक शक्तियों के बीच हुआ था. इन वैश्विक शक्तियों में अमेरिका, ब्रिटेन, चीन, फ्रांस, जर्मनी, रूस और ईरान शामिल थे. इस परमाणु समझौते के तहत ईरान पर परमाणु कार्यक्रम बंद करने पर प्रतिबंध हटाने की बात कही गई थी.
Advertisement
Advertisement