इंसानों की अगली पीढ़ी समय से पहले जन्म ले रही है. जानते हैं क्यों? क्योंकि इंसानों की गतिविधियों की वजह से पूरी दुनिया में हो रहा है क्लाइमेट चेंज यानी पर्यावरण परिवर्तन. एक नई स्टडी में इस बात का खुलासा हुआ है कि पर्यावरण परिवर्तन की वजह से ब्राजील के अमेजन इलाके में प्री-मैच्योर बर्थ (समय पूर्व जन्म) के मामले बहुत ज्यादा बढ़ गए हैं. ये स्टडी 11 साल के बीच जन्में 3 लाख बच्चों पर की गई है. (फोटोःगेटी)
ब्रिटेन की लैंकास्टर यूनिवर्सिटी और FIOCRUZ हेल्थ रिसर्च इंस्टीट्यूट के शोधकर्ताओं ने मिलकर यह स्टडी की है. इस स्टडी के मुताबिक ब्राजील के अमेजन इलाके में साल 2006 से 2017 तक करीब 3 लाख बच्चों का जन्म हुआ. जब स्थानीय डेटा और जन्मे बच्चों की सेहत का विश्लेषण किया गया तो हैरान कर देने वाली बातें सामने आईं. (फोटोःगेटी)
पर्यावरण परिवर्तन की वजह से बच्चों का जन्म के समय वजन कम था. इसकी सबसे बड़ी वजह थी अत्यधिक बारिश. साथ ही खराब शिक्षा प्रणाली, स्वास्थ्य सुविधाएं और आर्थिक कमजोरी. इतना ही नहीं सामान्य बारिश की वजह से भी 40 फीसदी नवजातों का वजन कम रह जाता है. यह स्टडी नेचर सस्टेनेबिलिटी जर्नल में सोमवार को प्रकाशित हुई है. (फोटोःगेटी)
इस स्टडी को करने वाले शोधकर्ताओं में से एक ल्यूक पेरी ने बताया कि ब्राजील में क्लाइमेट चेंज की वजह से बढ़ी बारिश मलेरिया जैसी संक्रामक बीमारियां फैलती हैं. इससे खाने की दिक्कत होती है. गर्भवती महिलाओं को मानसिक स्वास्थ्य संबंधी दिक्कतों का भी सामना करना पड़ता है. ये सारे मिलकर अजन्मे बच्चे और नवजात की सेहत पर असर डालते हैं. (फोटोःगेटी)
Climate change is leading to premature births in the Brazilian Amazon https://t.co/BLUIPEH4uL pic.twitter.com/ISxJO4TfV1
— New Scientist (@newscientist) March 1, 2021
ल्यूक पेरी कहते हैं कि ये पर्यावरणीय नाइंसाफी का एक उदाहरण है. क्योंकि ये लोग अमेजन के कट रहे जंगलों से बहुत दूर हैं. इन लोगों की वजह से यहां का पर्यावरण नहीं बदला. क्लाइमेट चेंज नहीं हुआ लेकिन भुगत ये लोग रहे हैं. इन्हें पर्यावरण ने सबसे पहले हिट किया और बहुत बुरे तरीके से हिट किया है. (फोटोःगेटी)
साइंड एडवांसेस नामक जर्नल में साल 2018 में एक रिपोर्ट छपी थी कि अमेजन की नदियों में कुछ दशक पहले इतनी बाढ़ नहीं आती थी. अब तो हर साल पांच बार बाढ़ आना सामान्य हो गया है. पिछले हफ्ते ब्राजील के राष्ट्रपति जायर बोल्सोनारो ने अमेजन इलाके में पड़ने वाले एकरे प्रांत में आई बाढ़ का हवाई जायजा लिया था. वहां आपातकाल की घोषणा की थी. (फोटोःगेटी)
ल्यूक पेरी कहते हैं कि ब्राजील के अमेजन इलाके में रहने वाले लोग यहां के बदलते पर्यावरण के हिसाब से खुद को बदल रहे हैं. लेकिन यह कोई समाधान नहीं है. लेकिन अब नदियों का बढ़ता हुआ जलस्तर और भयानक बारिश यहां रहने वाले लोगों की बदलने की क्षमता से ज्यादा ताकतवर साबित हो रही हैं. (फोटोःगेटी)
स्टडी के मुताबिक लंबे समय तक प्रांतीय अमेजोनिया पर राजनीतिक उपेक्षा का शिकार होना पड़ा. ब्राजील में विकास भी अनियमित है. इन सबकी वजह से क्लाइमेट चेंज और स्वास्थ्य संबंधी असमानता का लोगों को सामना करना पड़ रहा है. ब्राजील की सरकार से स्टडी के जरिए तीन प्रमुख बातों की अपील की गई है. पहली गर्भवती महिलाओं और बच्चों की सेहत का खास ख्याल रखा जाए. दूसरा हाईस्कूल तक ग्रामीण बच्चों को पढ़ाया जाए. दूसरा बाढ़ जैसी प्राकृतिक आपदाओं की पहले सूचना दी जाए. (फोटोःगेटी)