सुलेखा ने एक अंग्रेजी अखबार को बताया, 'एक दिन, मेरी दादी ने मुझे घर से बाहर निकाल दिया और मेरी गरीब मां कुछ नहीं कर सकी. मैं मेचाडा रेलवे स्टेशन पर पहुंची. मैं स्टेशन पर ही बैठकर काम के लिए भीख मांगने लगी. तभी दो आदमी मेरे पास आए और कहा कि एक घर में काम करना है जिसके लिए मुझे पैसे और खाना दोनों मिलेगा. (प्रतीकात्मक तस्वीर)