पूर्व संचार मंत्री और 2जी स्पेक्ट्रम घोटाले के मुख्य आरोपी ए राजा को दिल्ली की एक अदालत ने आठ जून से 30 जून के बीच तमिलनाडु जाने की इजाजत दे दी.
हाल ही में जमानत पर रिहा हुए पूर्व संचार मंत्री ए राजा ने एक अर्जी देकर तमिलनाडु जाने की इजाजत मांगी थी. अदालत ने 15 मई को उन्हें जमानत देते हुए कुछ शर्तें तय की थी. इन शर्तों में अदालत की अनुमति के बिना उन्हें अपने गृह राज्य की यात्रा नहीं करने की शर्त भी शामिल थी.
सीबीआई के विशेष न्यायाधीश ओपी सैनी ने राजा का यह अनुरोध स्वीकार कर लिया. द्रमुक सांसद का कहना था कि वह पिछले डेढ़ साल से भी अधिक समय से तमिलनाडु नहीं गए हैं.
राजा ने इस आधार पर भी अदालत की इजाजत मांगी थी कि गर्मियों की छुट्टियों के चलते नौ जून से 30 जून के बीच उनके मुकदमे की सुनवाई नहीं होगी.
न्यायाधीश ने कहा, ‘ए राजा को आठ जून से 30 जून के बीच अपने गृह राज्य तमिलनाडु की यात्रा करने की इजाजत 15 मई की तारीख वाले जमानत आदेश में उन पर लगाई गई शर्तों के मुताबिक दी जाती है.’
द्रमुक सांसद को अदालत ने 15 मई को जमानत दे दी थी क्योंकि इस मामले के अन्य सभी 13 आरोपियों को पहले ही जमानत मिल चुकी थी. राजा को जमानत पर रिहा करते हुए अदालत ने कहा था कि उन्हें और अधिक हिरासत में रखे जाने का कोई औचित्य नहीं है.
अदालत ने राजा पर कई शर्तें लगाई थी, जिनमें उनके तमिलनाडु जाने पर प्रतिबंध और दूर संचार विभाग जाने पर रोक शामिल है. इस विभाग में वह तीन साल से अधिक समय तक मंत्री रहे थे.
अदालत ने राजा को निर्देश दिया था वह मामले से जुड़े किसी भी व्यक्ति को प्रत्यक्ष या परोक्ष रूप से कोई प्रलोभन या धमकी नहीं देंगे. जमानत की शर्तों में राजा को अपना पासपोर्ट जमा कराने और सुनवाई के दौरान अदालत में उपस्थित रहने का निर्देश भी शामिल था.
अदालत ने राजा को जमानत पर रिहा करते हुए उन्हें 20 लाख रुपये का निजी मुचलका और इतनी ही रकम की दो जमानत राशि भी देने का निर्देश दिया था.
अदालत ने कहा था कि यदि राजा सुनवाई के दौरान गैर हाजिर रहना चाहते हैं तो उन्हें इसकी पूर्व अनुमति लेनी होगी और उन्हें अपरिहार्य परिस्थितियों में इस बारे में फौरन अदालत एवं सीबीआई को सूचना देनी होगी.
गौरतलब है कि सीबीआई ने राजा को पिछले साल दो फरवरी को गिरफ्तार किया था. वह 30,000 करोड़ रुपये के 2जी स्पेक्ट्रम आवंटन घोटाले में मुख्य आरोपी हैं. इस मामले में अन्य सभी सह आरोपियों को जमानत मिलने के बाद राजा ने अपनी जमानत की अर्जी दी थी.