भ्रष्टाचार के खिलाफ अन्ना हजारे को पूर्ण समर्थन देते हुए भाजपा ने कहा कि जन लोकपाल विधेयक को ही संसद से पारित होने वाले लोकपाल विधेयक का आधार बनना चाहिए.
पार्टी अध्यक्ष नितिन गडकरी ने अन्ना को लिखे पत्र में संप्रग पर आरोप लगाया कि वह हजारे के आंदोलन के प्रति अपने रवैये को लगातर बदल कर अब कड़ा रूख अपना रही है. उन्होंने चेतावनी दी कि सरकार कोई दु:साहस करने का प्रयास नहीं करे.
गडकरी ने जन लोकपाल विधेय के कुछ ही प्रावधानों का समर्थन करने के पार्टी के अब तक के रूख में बदलाव का संकेत देते हुए लिखा कि जन लोकपाल को आधार बना कर नियमों और प्रक्रियाओं से उपर उठ कर जल्द से जल्द संबंधित विधेयक को पारित करने का प्रयास होना चाहिए.
हजारे को लिखे पत्र में भाजपा अध्यक्ष ने कहा, वह यह जानकर स्तब्ध’’ हैं कि सरकार अन्ना पक्ष से किए गए वायदे से मुकर गई है.
गडकरी ने कहा, देश को सरकार की ओर से यह आभास दिया जा रहा था कि अन्ना पक्ष के साथ वार्ता संतोषजनक ढंग से प्रगति पर है और आपसी सहमति वाला समाधान नजर आ रहा है. मैं यह समझने में असमर्थ हूं कि कहां गड़बड़ी हो गई.’ उन्होंने कहा, कहीं यह सरकार के भीतरी मतभेद का परिणाम तो नहीं है.
अन्ना के आंदोलन पर विशेष कवरेज
हजारे से अनशन समाप्त करने की भाजपा की अपील के बारे में सफाई देते हुए उन्होंने कहा कि पार्टी ने ऐसा इसलिए किया कि सरकार ने बताया कि समाधान पर सहमति हो गई है.