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गावस्‍कर ने टीम इंडिया को लिया आड़े हाथ

पूर्व कप्तान सुनील गावस्कर ने आस्ट्रेलिया के बुरे दौरे के समापन पर भारतीय टीम को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि महेंद्र सिंह धोनी की टीम की मानसिकता समझना बहुत मुश्किल है.

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सुनील गावस्कर
सुनील गावस्कर

पूर्व कप्तान सुनील गावस्कर ने आस्ट्रेलिया के बुरे दौरे के समापन पर भारतीय टीम को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि महेंद्र सिंह धोनी की टीम की मानसिकता समझना बहुत मुश्किल है.

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गावस्कर ने कहा, ‘जब वे अर्धशतक, शतक या विकेट हासिल करते हैं तो वे दांत भींचते हैं लेकिन जब कैच छोड़ते हैं तो मुस्कराते हैं जबकि इसका उलटा होना चाहिए था. भारतीय क्रिकेट टीम की मानसिकता समझना बहुत मुश्किल है.’

आस्ट्रेलिया की त्रिकोणीय एकदिवसीय श्रृंखला के आखिरी लीग मैच में श्रीलंका के हाथों हार के साथ ही भारत का आस्ट्रेलियाई दौरा भी शुक्रवार को समाप्त हो गया. इस टूर्नामेंट से पहले भारतीय टीम को टेस्ट श्रृंखला के चारों मैच में हार झेलनी पड़ी थी.

गावस्कर ने कहा कि ऐसा लगता है कि आस्ट्रेलिया के हाथों करारी हार से भारतीय टीम ज्यादा आहत नहीं है. उन्होंने कहा, ‘कई अवसरों पर मैंने देखा जैसे कि वे बहुत आहत नहीं हैं. कुछ उदाहरण भी है. इशांत शर्मा अपनी गेंद पर माइकल क्लार्क का कैच छोड़ देता है और उसकी प्रतिक्रिया क्या होती है. वह मुस्कराने लगता है. जब आप कैच छोड़ते हो तो मुस्करा नहीं सकते और क्लार्क तिहरा शतक जड़ देता है.’

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गावस्कर ने कहा, ‘उमेश यादव आखिरी टेस्ट मैच में अपनी गेंद पर कैच करने का मौका गंवा देता है और बल्लेबाज शतक जमाता है तथा उमेश की प्रतिक्रिया क्या होती है वह मुस्कराता है. मैं इस मुस्कान के पीछे का कारण नहीं समझ पाया. मेरे कहने का मतलब यह है कि जब आप मुस्कराते हो तो सभी आपके साथ मुस्कराते हैं. इसके समझना बहुत मुश्किल है.

उन्होंने कहा कि आस्ट्रेलियाई दौरे के परिणाम का असर टीम पर लंबे समय तक दिखेगा. गावस्कर ने कहा, ‘इसका असर लंबे समय तक बना रहेगा. एशिया कप की टीम देखकर लगता है कि अभी कोई असर नहीं दिख रहा है. कई बार आप आमूलचूल बदलाव नहीं चाहते.’

उन्होंने कहा, ‘लेकिन कौन जानता है कि सितंबर में टीम में कुछ बदलाव देखने को मिलें. हो सकता है कि इंडियन प्रीमियर लीग के बाद जून से लेकर सितंबर जब सभी बैठकर विचार कर सकते हैं कि भारतीय क्रिकेट के लिये क्या अच्छा है. तब आप संभवत: कुछ बदलाव पाओगे.’

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