भारत ने शनिवार को चीन के सैन्य खर्चे में वृद्धि को लेकर चिंता जतायी लेकिन साथ ही कहा कि वह चीन को खतरा नहीं मानता. रक्षा मंत्री ए के एंटनी ने सिंगापुर में आयोजित एक सुरक्षा सम्मेलन में कहा, ‘चीन ने अपनी सैन्य क्षमताएं बढ़ा ली हैं और रक्षा पर खर्च में और वृद्धि की है.’
एंटनी ने कहा, ‘हम इसे लेकर चिंतित हैं.’ रक्षा मंत्री ने कहा, ‘हालांकि भारत हथियारों की होड़ में विश्वास नहीं करता लेकिन अपने राष्ट्रीय हितों की रक्षा के लिए हम भी अपने तरीके से अपनी सीमाओं पर अपनी सैन्य क्षमताओं को मजबूत कर रहे हैं.’
एंटनी ने कहा कि भारत चीन के साथ स्थिर संबंध चाहता है और दोनों देशों ने सैन्य सहयोग शुरू कर दिया है. सम्मेलन में दक्षिण चीन सागर से संबंधित हालिया घटनाक्रम चर्चा के केंद्र में रहे. सम्मेलन के दौरान एंटनी ने कहा, ‘हमारे बीच सेना के स्तर पर संपर्क है. अब हमने अपनी नौसेनाओं के बीच भी संपर्क बढ़ाना शुरू कर दिया है.’
भारत की तरह जापान ने भी चीन के रक्षा खर्चों में हो रहे भारी वृद्धि पर चिंता जताते हुए कहा कि चीन के रक्षा खर्चों के मुद्दे पर पारदर्शिता का अभाव है और इससे संबंधित गोपनीयता खतरनाक है. चीन का सैन्य बजट इस साल 11 प्रतिशत बढ़कर 106 अरब अमेरिकी डॉलर हो गया है.