देश की वाणिज्यिक राजधानी सिलसिलेवार बम विस्फोटों से दहल उठी लेकिन इन बम धमाकों को बामुश्किल 12 घंटे का ही समय बीता था कि मुंबईवासियों की जिंदगी तुरंत पटरी पर लौट आयी और रोजमर्रा की भागदौड़ इस प्रकार की शुरू हो गयी, मानो कुछ हुआ ही नहीं हो.
बीती शाम तीन जगहों पर भीड़भाड़ वाले बाजारों में हुए विस्फोटों में 18 लोगों के मारे जाने तथा 136 से अधिक के घायल होने के शहर में हाई अलर्ट घोषित कर दिया गया था. लेकिन इसके बावजूद आज सभी वाणिज्यिक प्रतिष्ठानों, स्कूल, कालेजों और दफ्तरों में उपस्थिति सौ फीसदी रही.
दक्षिण मुंबई की एक कंपनी में एग्जिक्यूटिव जेसोन पेरेरा ने कहा, ‘पहले की तरह ट्रेनों में भारी भीड़ थी तथा हमारे कार्यालय में हर कोई समय पर पहुंचा.’ शहर में बच्चे हर दिन की तरह आज भी स्कूल गए और बहुत से लोग बारिश की आशंका के कारण घरों से जल्दी निकल पड़े लेकिन इन लोगों ने पाया कि और भी सैंकड़ों ऐसे लोग थे जो घरों से अपने कार्यालय पहुंचने के लिए जल्दी निकले थे.
महालक्ष्मी में कार्यरत एक एग्जिक्यूटिव मीरा कामथ ने बताया, ‘आफिस जाने वाले अधिकतर लोगों की दिनचर्या में कोई बदलाव नहीं आया.’ उन्हें लोकल ट्रेनों में रोजाना की तरह भारी भीड़ देखकर हैरानी हुई.
केन्द्रीय गृह मंत्री पी चिदम्बरम ने भी मुंबईवासियों की बहादुरी की सराहना की. उन्होंने कहा, ‘मुंबई के लोगों ने (आतंकवादी हमलों का) शानदार जवाब दिया है.’