दिल्ली की एक अदालत ने चेक बाउंस होने के मामले में व्यक्तिगत रूप से न्यायालय में पेश नहीं होने को लेकर भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान और कांग्रेस सांसद मोहम्मद अजहरुद्दीन के खिलाफ गुरुवार को गैरजमानती वारंट जारी किया.
मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट विक्रांत वैद ने अजहर के वकील द्वारा पेशी में छूट सम्बंधी याचिका दायर करने के बाद उनके नाम वारंट जारी किया. अजहर के वकील की दलील थी कि वह उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में व्यस्त हैं, लिहाजा वह फिलहाल पेश नहीं हो सकते.
अदालत ने अजहर की छूट सम्बंधी याचिका को रद्द कर दिया और उन्हें 7 मार्च को व्यक्तिगत रूप से पेश होने को कहा. एक वकील ने कहा कि इससे पहले अदालत ने इस मामले की अंतिम सुनवाई के दिन पेश नहीं होने को लेकर अजहर के खिलाफ गैरजमानती वारंट जारी किया.
अजहर के खिलाफ मुम्बई के संजय सोलंकी ने याचिका दायर की है. सोलंकी ने अजहर को मुम्बई में अचल जायदाद की खरीद में मदद की थी. इस जायजाद के लिए 1.5 करोड़ रुपये में सौदा हुआ था.
खरीद की शर्तों के मुताबिक अजहर ने सोलंकी को 1.5 करोड़ देना स्वीकार किया था लेकिन किन्हीं कारणों से यह सौदा हो नहीं सका था. शर्तों के मुताबिक इसके बाद अजहर को सोलंकी को तीन करोड़ रुपये देने थे लेकिन वह ऐसा नहीं कर सके. इसी के बाद सोलंकी ने अजहर के खिलाफ यह मामला दर्ज कराया है.