चूहों को लेकर पहले से परेशान लोगों की परेशानी अब और भी बढ़ने वाली हैं. वैज्ञानिकों का कहना है कि कुछ यूरोपीय चूहों पर घातक जहरीली दवाओं का कोई असर नहीं पड़ता.
चूहे जहरीली दवा खाकर भी जिंदा बच जाते हैं क्योंकि उनकी प्रतिरोधक क्षमता काफी मजबूत है. वैज्ञानिकों ने अंदेशा जताया है कि इससे नये नस्ल के चूहों की जनसंख्या बढ़ सकती है जिन पर रासायनिक जहरीली दवायें बेअसर होती हैं.
अमेरिका के राइस विश्वविद्यालय के वैज्ञानिकों के दल ने अपने एक शोध में कहा कि जर्मनी और स्पेन के चूहों और अल्जेरिया के चूहों की प्रजाति के मेल से नये तरह के चूहे जन्म ले रहे हैं जिनकी प्रतिरोधक क्षमता काफी मजबूत है.
शोधकर्ताओं ने कहा कि चूहों के बीच हो रहा इस तरह का जीन स्थानांतरण एक असामान्य प्रक्रिया है. इस तरह का जीन स्थानांतरण आमतौर पर पौधों और जीवाणुओं में पाया जाता है.
वैज्ञानिकों के दल का नेतृत्व करने वाले प्रोफेसर माइकल कोह्न ने कहा कि चूहों की दो प्रजातियों के बीच इस तरह का संकरण लाखों वर्षों पहले होता था. अब दोबारा यह प्रक्रिया शुरू हो गयी है.
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