म्यांमार की विपक्षी नेता आंग सान सू ची ने मंगलवार को अपने रुख पर कायम रखते हुए सरकार के उस आदेश को खारिज कर दिया कि वह इस देश को ‘बर्मा’ कहना बंद करें.
करीब दो दशक पहले यहां की सैन्य सरकार ने बर्मा का नाम बदलकर म्यांमार रख दिया था. उसका कहना था कि बर्मा ब्रिटेन के उपनिवेश का बोध कराता है.
विदेश दौरे पर देश को ‘बर्मा’ कहे जाने पर बीते सप्ताह यहां के निर्वाचन आयोग ने सू ची की आलोचना की थी. आयोग ने कहा था कि सू ची और उनकी पार्टी नेशनल लीग फॉर डेमोक्रेसी (एनएलडी) संविधान की अवमानना कर रहे हैं.
उधर, अपने रुख पर कायम सू ची ने यांगून में संवाददाताओं से कहा कि वह जो पसंद करती हैं, उसी नाम से देश को पुकारेंगी.
उन्होंने कहा, ‘किसी भी लोकतांत्रिक देश में जनता की भावना के मुताबिक ही चीजों को करना चाहिए. अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता से किसी का अपमान नहीं होता है. यह लोकतांत्रिक सिद्धांतों और नीति से जुड़ी बात है.’