विस्फोटक सलामी बल्लेबाज वीरेंद्र सहवाग ने स्वीकार किया कि त्रिकोणीय एकदिवसीय क्रिकेट श्रृंखला में भारत की जीत सुनिश्चित करने के लिये उन्हें शीर्ष क्रम में अपनी बल्लेबाजी में सुधार करना होगा.
महेंद्र सिंह धोनी पर एक मैच का प्रतिबंध लगने के कारण श्रीलंका के खिलाफ कार्यवाहक कप्तान की भूमिका निभाने वाले सहवाग ने कहा कि वह इसके लिये अपने आक्रामक तेवरों पर अंकुश लगा सकते हैं.
उन्होंने भारत की 51 रन की हार के बाद कहा, ‘पांच बार मैं थर्ड मैन या स्लिप में कैच देकर आउट हुआ. मैं अपने प्रदर्शन पर ध्यान दे रहा हूं और टीम को मैच जिताने के लिये मुझे इसमें सुधार करना होगा.’ टूर्नामेंट में सहवाग ने अब तक जो तीन मैच खेले हैं उनमें 30 रन बनाये हैं.
उन्होंने कहा, ‘मैं समझता हूं कि मुझे पारी की शुरू में बाहर जाती कुछ गेंदों को छोड़कर बाद में गेंदबाजों पर हावी होकर खेलना होगा.’
सहवाग भारतीय गेंदबाजों के प्रदर्शन से भी निराश दिखे जिन्होंने स्लॉग ओवरों में कई रन लुटाये जबकि बल्लेबाज भी फिर से नहीं चल पाये.
उन्होंने कहा, ‘हम आखिरी दस ओवर में अच्छी गेंदबाजी नहीं कर पाये और बाद में हमने अच्छी बल्लेबाजी भी नहीं की. सचिन तेंदुलकर और गौतम गंभीर शुरू में खेल रहे थे मुझे लगा कि हमें अच्छी शुरुआत मिली लेकिन हमने तीन विकेट जल्दी गंवा दिये थे.’
वीरेंद्र सहवाग ने स्वीकार किया कि भारत को नियमित कप्तान धोनी की कमी खली. ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ पिछले मैच में धीमी ओवर गति के कारण उन पर एक मैच का प्रतिबंध लगाया गया था.सहवाग ने इसके साथ ही कहा कि भारत अब भी टूर्नामेंट के फाइनल में जगह बना सकता है.
उन्होंने कहा, ‘हमें मैच में धोनी की कमी खली. लेकिन यदि हम अपनी क्षमता से खेलते हैं तो बाकी बचे दोनों मैच जीतकर फाइनल में जगह बना सकते हैं. हमें इन दोनों मैच में अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करना ही होगा.’