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एक युवक को थप्पड़ मारने के बाद छत्तीसगढ़ के आईएएस ऑफिसर रणबीर शर्मा को सूरजपुर के डीएम के पद से हटा दिया गया है. इसी बीच इस घटना पर किया गया एक महिला IAS ऑफिसर का ट्वीट वायरल हो गया है.
झारखंड की IAS अफसर राजेश्वरी बी ने अपने ट्वीट में लिखा- मैं एक आईएएस अधिकारी हूं. रणबीर शर्मा, पूर्व कलेक्टर सूरजपुर मेरा प्रतिनिधित्व नहीं करते हैं. पावर मिलने से कमजोर लोग बेकाबू हो सकते हैं, सभी नहीं. राजेश्वरी बी ने लिखा कि ऑफिसर के तौर पर हमें एक उदाहरण पेश करना होता है जिसे पूरा करने में वह ऑफिसर (रणबीर शर्मा) साफ तौर से फेल रहे.
(छत्तीसगढ़ में डीएम के पद से हटाए गए आईएएस रणबीर शर्मा)
हालांकि, छत्तीसगढ़ में जो हुआ, वह अधिकारियों की ओर से जनता के साथ बदसलूकी की इकलौती घटना नहीं है. ऐसी घटनाएं अन्य राज्यों और शहरों से भी सामने आती रही हैं. इस पर झारखंड के दुमका में डिप्टी कमिश्नर के पद पर तैनात राजेश्वरी बी ने आज तक से कहा कि आज जनता के पास अपनी बात कहने के लिए सोशल मीडिया का प्लेटफार्म है. यह जनता को काफी ताकत देता है.
महिला IAS राजेश्वरी बी ने ट्वीट में लिखा- 'मैं एक आईएएस अधिकारी हूं. रणबीर शर्मा, पूर्व कलेक्टर सूरजपुर मेरा प्रतिनिधित्व नहीं करते हैं. कोई भी अकेले सेवा का प्रतिनिधित्व नहीं कर सकता है. जैसा कि मैंने पहले की पोस्ट में कहा है कि अच्छे और बुरे हर पेशे, समुदाय और समाज में होते हैं. ताकत कमजोरों को ही नशा दे सकती है...सब को नहीं..'
I am an IAS officer & Mr.Ranbir Sharma, ex-collector Surajpur does not represent me. No one can represent the service single handedly. As I have stated in an earlier post the good & bad are in every profession, community & society. Power can only intoxicate the weak...not all..
— Rajeshwari B 🇮🇳 (@RSB_85) May 23, 2021
राजेश्वरी ने एक अन्य ट्वीट में कहा-'यह कहकर मैं अधिकारी का बचाव नहीं कर रही हूं, बल्कि उस सेवा का बचाव कर रही हूं, जो हर दिन लाखों युवाओं को प्रेरित करती है. सरकार उसके घिनौने व्यवहार के लिए उस पर कोई भी कार्रवाई करने के लिए सक्षम है. अधिकारी के रूप में हमें एक उदाहरण पेश करता होता है जिसमें वह स्पष्ट रूप से विफल रहे.'
By saying this I am not defending the officer but the service which inspires millions of youth each day. The government is competent to take any action on him for his despicable behavior. As officers we do have to set an example of 'how to be', clearly this officer has failed to. https://t.co/2lwgmqH0r5
— Rajeshwari B 🇮🇳 (@RSB_85) May 23, 2021
आईएएस राजेश्वरी बी ने कहा कि सोशल मीडिया का शुक्रिया कि ऐसी घटनाएं सामने आती हैं. जो लोग इंटरनेट से कनेक्टेड हैं, उनकी आवाज इससे उठ सकती है. हाल ही में त्रिपुरा में भी ऐसा हुआ था. सूरजपुर वाले केस में जो हुआ, वह बिल्कुल स्वीकार्य नहीं है. पहले के वक्त में शायद लोगों को ऐसी स्थिति में डर लगता था, उनके पास बोलने के लिए प्लेटफॉर्म नहीं था. आज सोशल मीडिया जनता को काफी एम्पॉवर करता है. जैसे ये चीजें हाइलाइट हो रही हैं, उससे और भी लोग सीखें और ऐसी घटना रुके.
राजेश्वरी ने बताया कि सोशल मीडिया पर कुछ लोगों ने सवाल पूछा है कि ऐसे अफसरों का चयन कैसे कर लिया जाता है, इसका जवाब ये है कि ऐसा कोई एग्जाम नहीं है, जिससे किसी व्यक्ति की अंदर की अच्छाई या बुराई को पहचाना जा सके.
जब कोई एग्जाम या इंटरव्यू होता है, तो हर कोई खुद को एक अच्छे व्यक्तित्व के रूप में दर्शाता है. ये कोई एक या दो दिन का काम नहीं है, आजकल तो 21 साल के युवा इस सेवा में आ रहे हैं, तो उनके सामने तो लंबा करियर है. इतने लंबे समय के करियर में गुस्सा न आए, ऐसा नहीं हो सकता, लेकिन गुस्से को कैसे मैनेज करते हैं, यह महत्वपूर्ण है.