भारत के पूर्व राष्ट्रपति और भारत के मिसाइल मैन डॉक्टर एपीजे अब्दुल कलाम अपने करीबी दोस्तों और वैज्ञानिकों से मिलकर राष्ट्रपति पद के उम्मीदवारी पर अपने नाम के हां या ना का फैसला करने में मशगूल हैं.
कलाम के करीबी सूत्रों की मानें तो पूर्व राष्ट्रपति अपने दोस्तों और करीबीजनों से सलाह ले रहे हैं कि उनका राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार बनना सही होगा या नहीं. इन मुलाकातों के बाद ही कलाम इस बारे में कोई फैसला करेंगे.
कांग्रेस ने पहले ही प्रणब मुखर्जी के रूप में अपना उम्मीदवार घोषित कर दिया है, जिसको समाजवादी पार्टी, बसपा, आरजेडी सहित यूपीए के सभी सहयोगी दल समर्थन देने के लिए तैयार हैं. हालांकि यूपीए की सहयोगी ममता बनर्जी इस फैसले से नाखुश हैं और उन्होंने कलाम को राष्ट्रपति का उम्मीदवार बताया है. ममता ने एक कदम आगे जाकर अपने फेसबुक पेज पर कलाम के लिए समर्थन भी मांगा है.
रविवार को हुई एनडीए की बैठक में इस बाबत कोई फैसला नहीं लिया जा सका. पीए संगमा भी अपने आपको राष्ट्रपति का उम्मीदवार बता रहे हैं और उन्होंने रविवार को कहा कि वह भी राष्ट्रपति की रेस में हैं.
बीजेपी के सांसद राम जेठमलानी भी शनिवार को प्रेस को कह चुके हैं कि मैं भी राष्ट्रपति का चुनाव लड़ूंगा और प्रणब मुखर्जी को राष्ट्रपति नहीं बनने दूंगा.