भारत को लेकर पाकिस्तान के इरादे हमेशा खतरनाक रहे हैं. अब चौंका देने वाला एक नया खुलासा हुआ है. खुफिया एजेंसियों ने बताया है कि पाकिस्तानी सेना की ओर से भारतीय सेना के खिलाफ लोकल गाइड्स और भाड़े के सैनिक (आतंकवादी) इस्तेमाल किया जाते हैं.
यही नहीं भारतीय सेना पर हमलों के लिए उन्हें नकद इनाम भी दिया जाता है. भारतीय सेना के जवान का सिर काटने पर 5 लाख रुपए तक का नकद इनाम तय किया गया है. खुफिया एजेंसियों के इस खुलासे के बाद सीमा पर अलर्ट कर दिया है और स्थानीय गाइड्स से भी सावधान रहने को कहा गया है.
अलग-अलग हमलों का अलग-अलग इनाम
इंटेलिजेंस एजेंसी का कहना है कि भारतीय सेना पर अलग-अलग हमलों के लिए अलग-अलग इनाम तय किए गए हैं. फायरिंग में भारतीय सैनिक को मारने पर 10 हजार रुपए और माइन्स बिछाने पर 5 हजार रुपए तय किए गए हैं. एक गाइड को भारतीय सेना के खिलाफ किसी भी ऑपरेशन में शामिल रहने पर 2 हजार रुपए से लेकर 12 हजार रुपए तक दिए जाते हैं.
स्थानीय लोगों की भर्ती
भारतीय सेना के खिलाफ अपने अभियान में पाकिस्तानी सेना पाक अधिकृत कश्मीर की सीमा के पास लगते गांवों से स्थानीय लोगों को भर्ती भी कर रही है, ताकि वे उनके लिए लोकल गाइड का काम करें.
पाकिस्तानी सेना के नापाक इरादों को ध्यान में रखते हुए जम्मू बॉर्डर पर भी सेना को अलर्ट किया गया है. अंदेशा है कि वहां भी उसी तरह के हमले हो सकते हैं, जो पिछले दिनों हुए थे और एक भारतीय सैनिक का सिर धड़ से अलग कर दिया गया था.
खुफिया एजेंसी ने भारतीय सैनिकों की हत्या और एक सैनिक का सिर काटने के लिए जिम्मेदार व्यक्ति की पहचान कर ली है. उसका नाम अनवर खान बताया जा रहा है, जो एक लोकल गाइड है. पाकिस्तान की एजेंसी आईएसआई के कर्नल सिद्दीकी ने अनवर खान को इसके लिए 5 लाख रुपए का इनाम दिया था. खान पर इससे पहले भी भारत विरोधी गतिविधियों में शामिल रहने का आरोप है.
भारतीय सेना के अफसर उदय भास्कर का कहना है कि पाकिस्तान की यह हरकतें लगातार बढ़ रही हैं. इस तरह की पहली घटना कारगिल युद्ध के समय सामने आई थी. तब परवेज मुशर्रफ ने इलियास कश्मीरी को भारतीय सैनिक का सिर काटने पर इनाम दिया था.
पाकिस्तान में हुई थी मीटिंग
बताया गया है कि पाकिस्तानी सेना, इंटर सर्विस इंटेलिजेंस (आईएसआई) और कुछ आतंकी संगठनों के कमांडर्स की एक मीटिंग हुई थी. रावलकोट में हुई इस बैठक में भारतीय सेना के खिलाफ प्लानिंग की गई और हमलों के लिए कैश इनाम दिए जाने की घोषणा भी हुई. इंटेजिलेंस के सूत्र यह भी बताते हैं कि इस बैठक में मुम्बई हमले का मास्टरमांइड हाफिज सईद और हिजबुल मुजाहिदीन का प्रमुख सयैद सलाहुद्दीन भी शामिल था.