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फिसली पप्पू यादव की जुबान, कुत्ते से की टीचर की तुलना

चुनावी सभा में नेताओं के जुबान फिसलने लगे तो अपने को औरों से अच्छा साबित करने के फेर में क्या-क्या बोल जाते हैं उन्हें पता भी नहीं चलता. बिहार के समस्तीपुर में जन अधिकार मोर्चा के अध्यक्ष और सांसद पप्पू यादव ने टीचर की तुलना कुत्तों से करके नया विवाद खड़ा कर दिया है.

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पप्पू यादव (फाइल फोटो)
पप्पू यादव (फाइल फोटो)

चुनावी सभा में नेताओं के जुबान फिसलने लगे तो अपने को औरों से अच्छा साबित करने के फेर में क्या-क्या बोल जाते हैं उन्हें पता भी नहीं चलता. बिहार के समस्तीपुर में जन अधिकार मोर्चा के अध्यक्ष और सांसद पप्पू यादव ने टीचर की तुलना कुत्तों से करके नया विवाद खड़ा कर दिया है.

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बिहार में समस्तीपुर की चुनावी सभा को संबोधित करने के दौरान वारिसनगर विधानसभा के किसनपुर में पप्पू यादव ने शिक्षकों को जानवर(कुत्तों) तक को पढ़ाने लायक नही माना. इस बयान के बाद से शिक्षकों में आक्रोश है.

'कुत्तों को पढ़ाने के लायक भी नहीं हैं'
पप्पू यादव ने कहा था कि बिहार में और देश में कुत्तों पर कम से कम 18 हजार रूपये खर्च होता है लेकिन एक आम आदमी के परिवार की आमदनी 4 से 6 हजार रूपये मात्र है. उन्होंने कहा कि राज्य के 4.2 फीसदी स्कूल में टीचर नहीं है. यदि टीचर है तो वे टीचर इंसान को पढ़ाने के लायक नहीं है.

उन्होंने कहा, 'आपको जानकर आश्चर्य होगा एक परिवार 18 रुपया में एक दिन में खाता है और बिहार में कुत्तों पर खर्च कम से कम 18 हजार रुपये है. ये भारत सरकार का सर्वे है और आम आदमी के पास पूरे परिवार पर 6400 रूपये भी खर्च करने की आमदनी नहीं है.

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