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रोमांचक मैच में टीम इंडिया की जीत | स्‍कोर

अनुभवी वीवीएस लक्ष्मण के नाबाद 103 रन के दम पर भारत ने तीसरे और आखिरी क्रिकेट टेस्ट में श्रीलंका को पांच विकेट से हराकर तीन मैचों की श्रृंखला 1-1 से बराबरी पर समाप्त की.

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अनुभवी वीवीएस लक्ष्मण के नाबाद 103 रन के दम पर भारत ने तीसरे और आखिरी क्रिकेट टेस्ट में श्रीलंका को पांच विकेट से हराकर तीन मैचों की श्रृंखला 1-1 से बराबरी पर समाप्त की.

जीत के सूत्रधार की भूमिका निभाते हुए लक्ष्मण ने 16वां टेस्ट शतक जड़ा जबकि सचिन तेंदुलकर ने 54 और सुरेश रैना ने नाबाद 41 रन की पारी खेली. भारत ने चाय ब्रेक से दस मिनट पहले 257 रन का लक्ष्य हासिल कर लिया.

रैना ने चनाका वेलेगेदारा को छक्का लगाकर भारत को जीत दिलाई जबकि पी सारा ओवल स्टेडियम पर अगस्त 1994 के बाद श्रीलंका की यह पहली हार है. रैना के इस शाट के बाद भारतीय ड्रेसिंग रूम जश्न में सराबोर हो गया.

पांचवें दिन कठिन पिच पर 257 रन के मुश्किल लक्ष्य का पीछा करते हुए भारत ने कल मिले शुरूआती झटकों से उबरकर जीत की राह पर कदम रखा. लक्ष्मण और तेंदुलकर ने 109 रन की साझेदारी करके जीत की नींव रखी.

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महेंद्र सिंह धोनी की कप्तानी वाली भारतीय टीम हालांकि श्रीलंका में श्रृंखला नहीं जीत पाने का 17 साल पुराना कलंक नहीं मिटा पाई. कल के स्कोर तीन विकेट पर 53 रन से आगे खेलते हुए भारत ने सुबह ईशांत शर्मा (चार) का विकेट गंवाया जो नाइट वाचमैन के रूप में आये थे.{mospagebreak}

सूरज रणदीव की गेंद पर कुमार संगकारा ने शार्ट मिडविकेट पर उनका कैच लपका. इसके बाद तेंदुलकर और लक्ष्मण ने अपने अनुभव का पूरा इस्तेमाल करते हुए भारत को जीत तक पहुंचाया. तेंदुलकर ने 106 गेंदों का सामना करके 55वां टेस्ट अर्धशतक जमाया. उन्हें सुबह एक जीवनदान भी मिला था जब रणदीव की गेंद पर तिलकरत्ने दिलशान ने शार्टलेग पर उनका कैच छोड़ा. गेंद बल्ले और पैड के बीच से निकलकर गई थी. उस समय तेंदुलकर 18 रन पर खेल रहे थे.

इसके बाद उन्होंने रणदीव को चौका जड़कर दबाव हटाया. दूसरी ओर लक्ष्मण ने अजंता मेंडिस को चौका जड़कर 92 गेंद में 50 रन की साझेदारी पूरी की.

लंच तक चार विकेट पर 145 रन बना चुकी भारतीय टीम ने ब्रेक के बाद तेंदुलकर का विकेट गंवा दिया . रणदीव की लेग स्टम्प पर जाती गेंद पर स्वीप शाट खेलने की कोशिश में तेंदुलकर ने विकेट के पीछे प्रसन्ना जयवर्धने को कैच थमा दिया.

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उन्होंने 122 गेंद में 54 रन बनाये जिसमें तीन चौके शामिल थे. तेंदुलकर के पवेलियन लौटने का असर हालांकि ‘हरदम भरोसेमंद’ लक्ष्मण पर नहीं पड़ा और ना ही भारतीय विकेटों का पतझड़ शुरू हुआ.

तेंदुलकर के क्रीज पर रहते ही लक्ष्मण ने अपना अर्धशतक पूरा कर लिया था. इसके बाद शानदार फार्म में चल रहे रैना विकेट पर आये जिन्होंने ड्रा रहे दूसरे टेस्ट में शतक जड़ा था जो उनका पहला टेस्ट भी था . लक्ष्मण ने रनगति को बढाये रखा और अपनी पारी में 12 चौके लगाये.{mospagebreak}

साठ के पार पहुंचने के बाद लक्ष्मण पर थकान हावी होने लगी. वह 52वें ओवर में पीठ के दर्द के कारण मैदान पर बैठ गए. फिजियो को उनकी मदद के लिये आना पड़ा लेकिन वीरेंद्र सहवाग को रनर के रूप में लेकर उन्होंने खेलना जारी रखा.

उन्होंने अपना शतक 68वें ओवर में मेंडिस को लगातार चौके जड़कर पूरा किया. दूसरी ओर रैना ने 45 गेंद में चार चौकों और एक छक्के की मदद से 41 रन बनाये.

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