देश में एक साथ चुनाव कराए जाने को लेकर समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव ने तंज कसा है. उन्होंने कहा कि अगर पांच साल में चुनाव होंगे तो फिर तो आयोग के अधिकारियों और कर्मचारियों की भी आउटसोर्सिंग से लेटरल एंट्री होगी. अखिलेश ने चुटकी लेते हुए कहा, वन नेशन-वन इलेक्शन और वन डोनेशन.
वन नेशन वन इलेक्शन पर सपा चीफ ने कहा कि यह बड़ी साजिश है. महिला आरक्षण की बात हुई थी, कब होगा कुछ पता चला है क्या. अब बता रहे हैं कि वन इलेक्शन पर 18 हजार 626 पेज की रिपोर्ट थी, जो 191 दिनों में पूरी हुई हैं यानी करीब 100 पेज रोजाना. इससे पता चलता है कि कितना चर्चा हुई होगी इस पर. दरअसल भाजपाई रिपोर्ट है यह जो तैयार हुई है वन नेशन वन इलेक्शन और वन डोनेशन.
सपा मुखिया ने कहा, "जब पूरे देश में पांच साल में एक बार चुनाव होंगे तो कल को बीजेपी चुनाव आयोग का काम क्या है. आयोग के कर्मचारियों और अधिकारियों पर भी खर्च होता है और फिर लेटरल एंट्री के जरिए अधिकारी और कर्मचारी आउटसोर्स पर लिए जाएंगे."
बीजेपी अपनी रैलियों से पैसे बचाए: अखिलेश
अखिलेश यादव ने कहा कि क्या ये इतना बड़ा चुनाव आउटसोर्स से कराएंगे. अगर उन्हें पैसा बचाना है तो बीजेपी इतनी बड़ी रैलियां क्यों करती है. उनकी पांच रैलियों में इतना खर्चा होता है कि चुनाव आयोग के कर्मचारियों और अधिकारियों को पांच साल तक वेतन दिया जा सकता है. सपा प्रमुख ने तंज कसते हुए कहा कि वो अपनी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष का चुनाव भी कर सकती है.
हमारे यूपी के मठाधीश मुख्यमंत्री: अखिलेश
सीएम योगी के अयोध्या में ढांचा वाले बयान पर अखिलेश ने जवाब देते हुए कहा कि इधर सीएम साहब और उनके बयान कुछ अलग तरह के आ रहे हैं. हमने कभी किसी संन्यासी के बारे में कुछ नहीं कहा. अगर उन्हें लगता है कि वह हमारे शब्दों को किस तरह ले रहे हैं तो मैं कहूंगा वह हमारे यूपी के मठाधीश मुख्यमंत्री हैं. वह सपा और कांग्रेस दोनों को भस्मासुर बता रहे हैं. दो नहीं हो सकते ,बीजेपी अपने भस्म सुर को ढूंढ रही है.