एक ओर सरकार लगातार 'बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ' अभियान चलाकर शिक्षा की अलख जगा रही है, तो दूसरी ओर शिक्षा के लिए एक बच्ची ने फांसी लगाकर जान दे दी. यह घटना उत्तर प्रदेश के बरेली जिले में हुई. परिवार के लोगों का आरोप है कि समय पर फीस जमा न होने के कारण स्कूल प्रबंधक ने उनकी बच्ची को परीक्षा से रोक दिया. इससे आहत कक्षा 9 की छात्रा ने घर में फांसी के फंदे पर झूलकर जान दे दी.
दरअसल, थाना नबावगंज इलाके के रहने वाले अशोक कुछ साल से थाना बारादरी इलाके के दुर्गा नगर इलाके में किराए के मकान में रहते हैं और मेहनत मजदूरी करके अपने परिवार का पालन पोषण करते हैं.
अशोक का आरोप है कि उनकी बेटी संजय नगर के प्राइवेट स्कूल में कक्षा 9वीं की छात्रा थी. स्कूल की कुछ बकाया फीस होने की वजह से बच्ची को परीक्षा से रोक दिया गया था. फीस जमा करने के लिए मोहलत भी मांगी, लेकिन स्कूलवाले कुछ भी सुनने तैयार नहीं थे.
इसके बाद स्कूल प्रबंधक के आदेश पर उनकी बच्ची को परीक्षा देने से रोक दिया गया. इस बात से डिप्रेशन में आई छात्रा ने घर में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली. सूचना पर मौके पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम को भेजा.
जांच के बाद ही होगी आगे की कार्रवाई
घटना की जानकारी देते हुए एसपी सिटी राहुल भाटी ने बताया कि 9वीं क्लास की छात्रा ने आत्महत्या कर ली. आत्महत्या का कारण अभी स्पष्ट नहीं है. शिकायती प्रार्थना पत्र के आधार पर और घरवालों से और स्कूल प्रबंधन से बात करके जांच के बाद ही स्पष्ट हो पाएगा कि आत्महत्या का कारण क्या था? फिलहाल मामले की जांच जारी है. वहीं, दूसरी ओर परिवार में इस घटना के बाद कोहराम मचा हुआ है. माता-पिता का रो-रोकर बुरा हाल है.