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एक करोड़ रुपये की फिरौती के लिए बदमाशों ने व्यापारी के 18 वर्षीय लड़के को किडनैप कर लिया. फिर उसे हरियाणा के फरीदाबाद से नोएडा होते हुए यूपी ले आए. लेकिन जैसे ही बदमाश यमुना एक्सप्रेसवे पर चढ़े कार के टोल कटने का मैसेज व्यापारी के फोन पर पहुंच गया. इस तरह किडनैपर्स की लोकेशन पता चल गई और पुलिस ने उन्हें आगरा के पास से धर दबोचा. साथ ही किडनैप किए गए लड़के को भी कार की डिक्की से सकुशल बरामद कर लिया. तो आइए जानते हैं किडनैपिंग से लेकर बदमाशों के पकड़े जाने तक की पूरी कहानी...
बता दें कि फरीदाबाद में रहने वाला 18 साल का ईशांत अग्रवाल बीबीए का स्टूडेंट है. उसके पिता आशीष अग्रवाल फर्नीचर व्यापारी हैं. बीते मंगलवार को ईशांत फरीदाबाद से नोएडा अपनी बहन के घर जाने के लिए निकला था. उसके साथ पिता आशीष अग्रवाल की निजी कार और उनका ड्राइवर आकाश यादव था. आकाश यूपी के मैनपुरी का रहने वाला है.
कई घंटे बीत जाने के बाद जब ईशांत नोएडा नहीं पहुंचा तो आशीष अग्रवाल ने उसे फोन किया. लेकिन ईशांत का फोन ऑफ बता रहा था. फिर जब आकाश को फोन किया तो उसका फोन भी नहीं लग रहा था. आशीष ने ये बात नोएडा में पारस गुप्ता को बताई. पारस के यहां ही ईशांत को पहुंचना था. ऐसे में दोनों ही घरों के लोगों ने ईशांत की खोजबीन शुरू की.
पिता के पास टोल का मैसेज पहुंचा
इसी बीच ईशांत के पिता आशीष अग्रवाल के मोबाइल पर यमुना एक्सप्रेसवे टोल का मैसेज पहुंचा तो उन्हें शक हुआ. दरअसल, आशीष की कार में फास्ट टैग लगा हुआ था. टोल क्रॉस करते ही उससे पैसे कटे जिसका मैसेज सीधे आशीष अग्रवाल के मोबाइल पर गया. इसकी सूचना उन्होंने फौरन पुलिस और टोलकर्मियों को दी.
इसके बाद फरीदाबाद पुलिस ने यमुना एक्सप्रेसवे से लगते सभी थानों में अलर्ट भेजा. इस पर आगरा और आसपास की पुलिस एक्टिव हो गई. नाकेबंदी कर जांच शुरू कर दी गई. ट्रक लगाकर गाड़ियों को रोकने का प्रयास किया गया. जिसमें एक संदिग्ध कार नजर आई. चेकिंग करने पर उसकी डिक्की से ईशांत बरामद हुआ.
अपहरणकर्ताओं के पास से तमंचा और कारतूस बरामद
इसको लेकर एसीपी एत्मादपुर सौरभ सिंह ने बताया कि थाना खंदौली को सूचना मिली थी कि ईशांत अग्रवाल को उसका ड्राइवर आकाश यादव अगवा कर यमुना एक्सप्रेसवे की ओर ले जा रहा है. इस पर पूरी टीम के साथ एक्स्प्रेसवे टोल पर सघन चेकिंग शुरू की गई. तकरीबन 30 मिनट बाद उक्त कार नोएडा की ओर से आती हुई दिखाई दी. अपहरणकर्ताओं ने जब चेकिंग को देखा तो उन्होंने गाड़ी को भगाने का प्रयास किया. लेकिन अंततः पकड़े गए. जब पुलिस ने कार की डिक्की खुलवाई तो उसमें ईशांत अग्रवाल डरा सहमा लेकिन सकुशल पाया गया. जिसके बाद पुलिस ने दो अपहरणकर्ताओं को हिरासत में ले लिया. उनके पास से तमंचा और कारतूस बरामद हुआ है.
बाद में ईशांत के बरामद होने की सूचना हरियाणा पुलिस और उसके परिवार को दी गई. देर रात फरीदाबाद के सूरजकुंड थाना पुलिस और ईशांत के परिजन खंदौली थाना आए. कागजी कार्यवाही पूरी करने के बाद ईशांत अपने परिजनों के साथ रवाना हो गया. वहीं, जिस कार से उसका अपहरण हुआ था उसे थाना सूरजकुंड पुलिस अपने साथ ले गई है.
ड्राइवर ने कैसे किया था किडनैप?
शुरुआती जांच में सामने आया है कि ईशांत ने कार चलाने के लिए ड्राइवर आकाश यादव को बुलाया था. रास्ते में आकाश ने टॉयलेट जाने के लिए कार रोक दी. इसी दौरान उसका दूसरा साथी आया और ईशांत के कनपटी पर तमंचा सटा दिया. फिर दोनों उसे अगवा कर मैनपुरी की ओर ले जाने लगे. उन्होंने ईशांत को कार की डिक्की में डाल दिया था. लेकिन टोल कटने के मैसेज से उनकी लोकेशन पता चल गई.
आरोपी आकाश और उसके साथी की उम्र 25-26 साल है. आकाश तीन महीने से अग्रवाल परिवार की कार चला रहा था. आकाश मूल रूप से उत्तर प्रदेश के मैनपुरी, इटावा का रहने वाला है. यमुना एक्सप्रेसवे पर पहुंचकर दोनों ने तमंचे के बल पर ईशांत को धमकाकर कार की डिक्की में बंद कर दिया था, ताकि वो चिल्ला न सके.