उत्तर प्रदेश के कानपुर में एक कारोबारी के बेटे कुशाग्र कनोडिया की हत्या उसकी ट्यूशन टीचर ने अपने बॉयफ्रेंड के साथ मिलकर कर दी. इसके बाद जब कुशाग्र की मां को बेटे के मर्डर का पता चला तो वह चीखते हुए गश खाकर गिर गईं. वहीं पिता को जब पता चला तो वे भी बेहोश हो गए. इस घटना के बाद परिजनों की चीखों से पूरे इलाके में मातम पसर गया. छात्र के परिजन गहरे सदमे में हैं.
दरअसल, हत्या की आरोपी ट्यूशन टीचर रचिता हिमाचल प्रदेश की रहने वाली है. उसके माता-पिता नहीं हैं. वह कानपुर में अकेले रहकर घरों में जाकर ट्यूशन पढ़ाती है. रचिता कानपुर में फजलगंज में कमरा लेकर अकेले रहती थी. यह टीचर कुशाग्र को पिछले कई साल से कोचिंग पढ़ा रही थी.
रचिता पहले कुशाग्र को कोचिंग पढ़ाने उसके घर जाती थी. इसके बाद कुशाग्र के परिजनों ने उसे हटा दिया था. एक साल से वह कुशाग्र के भाई को कोचिंग पढ़ाने लगी थी. कुशाग्र रचिता से मिलने उसके घर पर जाता था. यही बात उसके मर्डर की वजह बन गई.
प्रभात से रचिता का चल रहा था अफेयर
रचिता का प्रभात शुक्ला नाम के लड़के से भी अफेयर चल रहा था. प्रभात को जब पता चला कि कुशाग्र भी रचिता से मिलता है तो ये बात उसे नागवार गुजरी. इसी को लेकर प्रभात ने अपने दोस्त शिवा के साथ मिलकर कुशाग्र की हत्या की प्लानिंग रच डाली. इस प्लान में रचिता भी शामिल हो गई.
जिस जिन घटना हुई, उस दिन कुशाग्र शाम को 4 बजे घर से कोचिंग के लिए निकला था. रास्ते में उसे रचिता का बॉयफ्रेंड प्रभात मिल गया. प्रभात ने कुशाग्र को रोक लिया और कहा कि मुझे अपने रामबाग तक छोड़ दो. प्रभात को कुशाग्र पहले से जानता था. प्रभात को यह पता था कि रोज 4 बजे कुशाग्र इसी रास्ते से कोचिंग जाता है.
हत्या के बाद की पुलिस को गुमराह करने की कोशिश
पुलिस के मुताबिक, कुशाग्र जब प्रभात को छोड़ने गया तो रामबाग में घर के पास प्रभात उसे कोल्ड ड्रिंक पिलाने के बहाने घर में ले गया. इसके बाद प्रभात ने रचिता और शिवा के साथ मिलकर उसकी हत्या कर दी. हत्या के बाद शव घर में ही छिपा दिया. इसके बाद पुलिस को भटकाने के लिए फिरौती के लिए प्रभात ने लेटर लिखा और कुशाग्र के घर भेजा, जिसमें धार्मिक नारा भी लिख दिया गया था.
रचिता जानती थी कि कुशाग्र के घरवाले काफी रिच हैं
इसके बाद रचिता ने प्रभात के साथ मिलकर प्लान बनाया कि कुशाग्र के घरवालों से तीस लाख फिरौती मांगी जाए. उसके घरवाले पैसे वाले हैं. रचिता यह बात जानती थी, क्योंकि वह कुशाग्र को उसके घर जाकर कोचिंग पढ़ा चुकी थी. रचिता को पता था कि कुशाग्र को उसके परिजन कितना प्यार करते हैं. इसलिए उसके अपहरण की बात सुनते ही तुरंत पैसा दे देंगे. रचिता का प्लान था कि फिरौती की रकम मिलते ही वह प्रभात के साथ हिमाचल प्रदेश चली जाएगी.
कुशाग्र को भी अपने घर पर बुलाती थी रचिता
मृतक छात्र कुशाग्र रचिता से मिलने उसके घर पर जाता था. वहीं रचिता का बॉयफ्रेंड प्रभात भी आता था. रचिता कुशाग्र को ऐसे समय ही बुलाती थी, जब प्रभात के आने का समय नहीं होता था. प्रभात का घर भी रचिता के पास फजलगंज के ओम नगर में ही है.
हत्या के बाद घसीटी गई थी लाश
कुशाग्र की पोस्टमार्टम रिपोर्ट से पता चला है कि आरोपी कुशाग्र की केवल सीधे-सीधे हत्या ही करना चाहते थे. शव का पोस्टमार्टम कानपुर में कल्याणपुर सीएससी अस्पताल के डॉ. आलोक ओमर ने किया है. पुलिस ने पंचनामे में छात्र के चेहरे पर खरोंच के निशान पाए थे, जिसके बारे में डॉक्टर का मानना है कि हत्या के बाद उसकी बॉडी घसीटी गई, उसी से खरोंच लगी है.
छात्र के बाबा ने क्या कहा?
छात्र के बाबा संजय कनोडिया इस बात पर अफसोस कर रहे हैं कि छात्र की हत्या में पकड़ी गई उसकी कोचिंग टीचर रचिता वत्स को कभी पहचान नहीं पाए. उसकी हकीकत नहीं जान सके.
कुशाग्र के मामा को रचिता ने किया था कॉल
जॉइंट पुलिस कमिश्नर आनंद प्रकाश तिवारी का कहना है कि रचिता इतनी शातिर है कि हत्या के बाद उसने कुशाग्र के मामा को फोन किया था और कुशाग्र के लिए चिंता जाहिर करते हुए उनसे पल पल की जानकारी ले रही थी.----