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माई लॉर्ड... जेल में बैठकर गैंग कैसे चला सकता हूं? कोर्ट में गिड़गिड़ाया माफिया मुख्तार अंसारी

कोर्ट में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए पेशी के दौरान मुख्तार अंसारी जज के सामने फिर गिड़गिड़ाया. उसने कहा- माई लॉर्ड... ये गैंगेस्टर का मामला फर्जी है. सिर्फ राजनैतिक कारणवश मुझे फंसाया गया है. मै हाई सिक्योरिटी बैरक में हूं, जहां परिंदा भी नही आ सकता है.

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बांदा जेल में बंद है मुख्तार अंसारी
बांदा जेल में बंद है मुख्तार अंसारी

यूपी सरकार की सख्ती के चलते जेल में बंद माफिया मुख्तार अंसारी परेशान है. जेल की सख्त सलाखों के पीछे बैचेन है. आज सोमवार को गैंगेस्टर कोर्ट में बांदा जेल से उसकी वर्चुअल पेशी हुई. मुकदमे के तीसरे गवाह इंस्पेक्टर सुरेंद्र प्रताप सिंह गैर हाजिर रहे. कोर्ट में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए पेशी के दौरान मुख्तार अंसारी जज के सामने फिर गिड़गिड़ाया. उसने कहा- माई लॉर्ड... ये गैंगेस्टर का मामला फर्जी है. सिर्फ राजनैतिक कारणवश मुझे फंसाया गया है. मै हाई सिक्योरिटी बैरक में हूं, जहां परिंदा भी नही आ सकता है. मैं यहां बैठकर गैंग कैसे चला सकता हूं?

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मुख्तार की बात सुनकर एमपी-एमएलए कोर्ट के विशेष सत्र न्यायधीश जज कमलकांत श्रीवास्तव ने अगली तारीख 30 सितंबर लगा दी, जिसमें गवाह से जिरह होगी. सभी गवाहों की गवाही और जिरह होने के बाद मुकदमे का फैसला आएगा.

मुख्तार के वकील रणधीर सिंह सुमन ने बताया कि गैंगस्टर एक्ट के तहत दर्ज मुकदमे के तीसरे गवाह इंस्पेक्टर सुरेंद्र प्रताप सिंह की गवाही और जिरह होनी थी, लेकिन उनके पिता की तबियत ठीक होने की वजह से वो नही आ सके. मुख्तार अंसारी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए कोर्ट में पेश हुआ, जहां उन्होंने अपने बचाव में कोर्ट के समक्ष अपनी बात कही. जज कमलकांत ने मुकदमे की तारीख 30 सितंबर लगा दी है. उसमे में गवाह हाजिर होगा और जिरह होगी. 

मालूम हो कि माफिया मुख्तार अंसारी के पंजाब जेल में बंद होने के दौरान अन्य जिलों में पेशी पर जाने के लिए फर्जी नाम पते पर एंबुलेंस मुहैया कराने के आरोप पर मुकदमा दर्ज किया गया था. बाराबंकी पुलिस ने मुख्तार अंसारी के अलावा डॉ. अल्का राय, डॉ. शेषनाथ राय, राजनाथ यादव, आनंद यादव, सुहैब मुजाहिद, सलीम,  शाहिद, सुरेंद्र शर्मा, शाहिद, फिरोज कुरैशी, अफरोज खान उर्फ चुन्नू और जफर उर्फ चंदा के खिलाफ भी नगर कोतवाली में 2 अप्रैल 2021 को मुकदमा दर्ज कराया था. 

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इस मामले में 25 मार्च को गैंगस्टर के तहत दर्ज मुकदमे में मुख्तार अंसारी समेत 13 लोगों को आरोपी बनाया गया. फिलहाल, मुख्तार बांदा जेल में बंद है, जबकि अन्य आरोपी कोर्ट से जमानत पर जेल से बाहर हैं. 

हाईकोर्ट से मुख्तार को राहत 

आज ही इलाहाबाद हाईकोर्ट ने गैंगस्टर मामले में मुख्तार अंसारी की जमानत अर्जी की मंजूर की है. गाज़ीपुर एमपी एमएलए कोर्ट द्वारा 5 लाख रुपये के लगाए गए जुर्माने पर भी रोक लगाई है. हालांकि, कोर्ट ने सजा पर रोक नहीं लगाई है. सजा पर सुनवाई जारी रहेगी. 

हाईकोर्ट ने बहस पूरी होने के बाद 20 सितंबर को फैसला सुरक्षित लिया था. मुख्तार ने हाईकोर्ट में अर्जी दाखिल कर 10 साल की मिली सजा को चुनौती दी थी. बता दें कि गाजीपुर की एमपी एमएलए स्पेशल कोर्ट ने 29 अप्रैल को गैंगस्टर मामले में सजा सुनाई थी.

हाईकोर्ट में मुख्तार के वकील उपेंद्र उपाध्याय ने सर्टिफिकेट दाखिल किया था. उन्होंने कोर्ट को बताया था कि मुख्तार अंसारी 12 साल 4 महीने से जेल में बंद है. वकील की दलील थी कि उससे ज्यादा सजा ट्रायल के दौरान मुख्तार अंसारी भुगत चुका है. इस मामले में कोर्ट ने बांदा जेल अधीक्षक से भी रिपोर्ट मांगी थी. इसपर आज जस्टिस राजबीर सिंह की सिंगल बेंच ने फैसला सुनाया है. 

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