आज हम आपको बताएंगे कि दुनिया के तमाम आधुनिक शहर ट्रांसपोर्ट के कौन से फ्यूचर टेक्नोलॉजी को अपना रहे हैं और जो निकट भविष्य में हमारे शहरों की जिंदगी का भी हिस्सा बन सकती हैं.
हमारे शहरों में जो ट्रांसपोर्ट सिस्टम सबसे जल्दी आते दिख रहा है वह है पॉड टैक्सी. भारत में सबसे पहले नोएडा शहर में पॉड टैक्सी चलाने की योजना है.
अमेरिका के कई शहर और दुबई समेत कई शहरों में कंपनियों ने फ्लाइंग टैक्सी चलाने का प्रपोजल पेश किया है.
ऐसी कारें जो सेल्फ ड्राइविंग हो, ऑटोपायलट तरीके से सड़क के सिगनल्स को समझकर खुद कमांड ले और सेंसर टेक्नीक की मदद से स्पीड, दूसरी गाड़ियों से दूरी आदि को भी खुद नियंत्रित करें.
बुलेट ट्रेनों से भी आगे की तकनीक इसे माना जाता है. खास बात ये है कि इनमें लोहे के पारंपरिक पहिये नहीं होते, बल्कि यह मैग्नेटिक लेविटेशन यानी मैग्लेव से चलती है.
ट्रांसपोर्टेशन के आधुनिक साधनों में सामान पहुंचाने के लिए डिलीवरी ड्रोन की तकनीक का इस्तेमाल भी बहुत तेजी से बढ़ रहा है.
टेस्ला सीईओ एलॉन मस्क सड़क पर बढ़ते ट्रैफिक को शहरी जीवनशैली की सबसे बड़ी चुनौती मानते हैं और इसका समाधान वे सड़कों की रिडिजाइनिंग और अंडरग्राउंड सड़कों को बताते हैं.
टेस्ला सीईओ एलॉन मस्क ने पहली बार साल 2012 में हाइपरलूप तकनीक का विचार सामने रखा था. इस तकनीक से ट्रेनों को ट्यूब के अंदर चलाया जाता है और इस कारण स्पीड बहुत तेज रखना संभव हो पाता है.