आर्थिक संकट में फंसकर दिवालिया होने की कगार पर पहुंच चुके पाकिस्तान की मुश्किलें कम नहीं हो रही हैं.
शहबाज शरीफ सरकार अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष से 1.1 अरब डॉलर का बेलआउट पैकेज रिलीज करने की गुहार लगा रही है.
लेकिन पाकिस्तान ने हाल ही में जो कदम उठाया है, उससे IMF से जल्द मदद मिलने की उम्मीद कम ही दिख रही है.
आर्थिक मदद देने के एवज में IMF ने सरकार के सामने कई कड़ी शर्तें रखी हैं, जिनमें से कई को मान लिया गया है.
इस बीच पाकिस्तान सरकार ने एक ऐसी गलती कर दी है, जो उसे मिलने वाली आर्थिक मदद में रोड़ा अटका सकती है.
दरअसल, पिछले दिनों सरकार ने दोपहिया-तिपहिया वाहन मालिकों को पेट्रोलियम सब्सिडी देने का ऐलान किया था.
Petroleum Subsidy देने के इस फैसले की जानकारी IMF को नहीं दी गई थी, बस इसी बात पर वैश्विक निकाय ने नाराजगी जताई है.
डॉन के मुताबिक, Pak में आईएमएफ प्रतिनिधि Esther Perez Ruiz ने कहा कि हमें इसकी सूचना नहीं दी गई.
उन्होंने कहा कि कुछ बिंदुओं के निपटारे के बाद ही पाकिस्तान को कर्ज देने के लिए स्टाफ लेवल करार हो सकता है.
IMF की बेरुखी झेल रहे पाकिस्तान में हालात हर बीतते दिन के साथ खराब हो रहे हैं और पेट भरने के लिए लोग लूटपाट करने को मजबूर हैं.