खाने का सामान, किताबें या फिर इलेक्ट्रिक या इलेक्ट्रॉनिक आइटम, हर चीज पर आपको बार कोड नजर आ जाएगा.
खाने का सामान, किताबें या फिर इलेक्ट्रिक या इलेक्ट्रॉनिक आइटम, हर चीज पर आपको बार कोड नजर आ जाएगा.
इसका इस्तेमाल इतना बढ़ गया है कि यह आज फ्लाइट टिकट, चेकन इन लगेज से लेकर हॉस्पिटल बेड तक पर नजर आते हैं.
आम तौर पर चौकोर या वर्गाकार दिखने वाले इस कोड का मकसद क्या है? इससे सहूलियत होती है? क्या आप जानते हैं?
दरअसल, बार कोड एक कम्प्यूटराइज्ड सूचना है, जिसमें ब्लैक एंड वाइट धारियों में जरूरी इन्फॉर्मेशन दर्ज होती है.
बार कोड में डेटा स्टोर होता है. यह सूचना ऐसी होती है जिसे एक खास किस्म के रेड लाइट रीडर से पढ़ा जा सकता है.
आम तौर पर किसी प्रोडक्ट पर दर्ज बारकोड में उसकी मैनुफैक्चरिंग डेट, कीमत, बैच नंबर और अन्य जरूरी डिटेल्स होती हैं.
इन डिटेल्स को रीडर लाइट से स्कैन करते ही ये सारी जानकारी कम्प्यूटर में चली जाती है, जिसे बिल के तौर पर छाप सकते हैं.
बार कोड की वजह से कंपनियों को अपने प्रोडक्ट के स्टॉक, डिस्ट्रीब्यूशन और बाकी डिटेल्स का हिसाब रखने में सहूलियत होती है.