लोगों को आपने अक्सर कहते सुना होगा कि झूठ बोलना या सुनना उन्हें बिल्कुल पसंद नहीं है, लेकिन कोई झूठ बोल रहा है या सच, ये पता लगा पाना बेहद मुश्किल है.
लोग जो हमें बोलते हैं, हम उसी पर यकीन कर लेते हैं. हालांकि, साइकोलॉजी के कुछ तरीके हैं, जिनसे आप सामने वाले का झूठ चुटकियों में पकड़ सकते हैं. आइए जानें.
अगर कोई व्यक्ति आपसे झूठ बोल रहा है और उस बीच आप उससे कोई सवाल करें तो वो असहज हो जाता है. असहजता का पता आप व्यक्ति के रिएक्शन से लगा सकते हैं.
कुछ लोग झूठ बोलते वक्त अपने हाथों को मसलने लगते हैं तो कई लोग अपने नाखूनों की ओर देखने लगते हैं या कई अपने पैर हिलाने लगते हैं. ऐसे लोग आपके सवालों से घबराते हैं.
अगर कोई व्यक्ति आपसे बात करते वक्त बार-बार अपनी आंख या मुंह को कवर कर रहा है तो मुमकिन है कि वो झूठ बोल रहा है. एक्सपर्ट्स की मानें तो झूठे लोग अपने रिएक्शन छिपाने की कोशिश करता है.
अगर आपके पहचान का व्यक्ति झूठ बोल रहा है तो इस चीज़ को नोटिस करें कि वो आम बोलचाल के वक्त जैसा है क्या वैसे ही बात कर रहा है. कई बार झूठ बोलने वाले जल्दी-जल्दी बात करते हैं.
अगर कोई व्यक्ति बात करते वक्त इधर-उधर देख रहा है तो इसका मतलब है कि वो आपसे झूठ बोल रहा है. एक स्टडी में पाया गया कि झूठ बोलते वक्त व्यक्ति अपनी नजरों को दाएं-बाएं करता रहता है.