क्या आप मेट्रो और रेलवे ट्रैक्स के बीच का अंतर बता सकते हैं?
दरअसल,रेलवे ट्रैक्स पर छोटी-छोटी गिट्टियां बिछी होती हैं, जबकि, मेट्रो टैक्स पर ऐसा नहीं होता.
रेलवे ट्रैक्स पर बिछी गिट्टियों को बैलेस्ट कहा जाता है.
जब ट्रेन ट्रैक से गुजरती है तो काफी शोर और तेज कंपन होता है.
ट्रैक पर पड़ी गिट्टियां इस शोर को कम करती हैं और कंपन के समय ट्रैक के नीचे की पट्टी यानी स्लीपर्स को फैलने से रोकती हैं.
इन गिट्टियों के रख-रखाव में काफी खर्च आता है. कई बार रख-रखाव के चक्कर में रेलवे ट्रैक को ब्लॉक करना पड़ता है.
यही कारण है कि मेट्रो ट्रैक्स पर गिट्टियां नहीं बिछाई जाती हैं.
बार-बार इसके रख-रखाव के लिए मेट्रो ट्रैक्स को ब्लॉक नहीं किया जा सकता.
मेट्रो के लिए बिना गिट्टी वाले कांक्रीट ट्रैक ही बनाने पड़ते है.
ये ट्रैक्स बनाने में मंहगे पड़ते हैं, लेकिन इनकी मेंटेनेंस न के बराबर करनी पड़ती है.