08 August 2024
Credit: Freepik
ब्रेन फॉग एक ऐसी स्थिति है, जिसमें भ्रम, याद्दाश्त में परेशानी और फोकस की कमी होती है. इसका कोई टेस्ट नहीं होता, बल्कि मेडिकल स्थिति से इसे पहचाना जाता है.
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ब्रेन फ़ॉग खुद कोई मेडिकल कंडीशन नहीं है, बल्कि अन्य मेडिकल कंडीशन्स का एक लक्षण है. यानी ब्रेन फ़ॉग होना किसी अन्य बीमारी की ओर इशारा करता है.
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इसमें मेमोरी प्रॉब्लम, मानसिक स्पष्टता की कमी कमज़ोर एकाग्रता और ध्यान केंद्रित करने में असमर्थता होती है.
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ब्रेन फॉग होने के कई कारण हो सकते हैं. एक बार जब आप इन कारण का पता लगा लेते हैं, तो आप इसे मैनेज करना शुरू कर सकते हैं.
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लंबे समय से तनाव ब्लड प्रेशर बढ़ा सकता है, इम्यून सिस्टम कमजोर कर सकता है और डिप्रैशन को ट्रिगर कर सकता है. इससे मानसिक थकान भी हो सकती है.
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खराब नींद आपके दिमाग के कामकाज में बाधा डाल सकती है. आमतौर पर हर रात 8-9 घंटे की नींद लेनी चाहिए. बहुत कम सोने से एकाग्रता में कमी और धुंधले विचार आ सकते हैं.
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हार्मोन में बदलाव भी ब्रेन फॉग का कारण बन सकते हैं. जैसे-गर्भावस्था में प्रोजेस्टेरोन और एस्ट्रोजन हार्मोन का स्तर बढ़ जाता है. जो याद्दाश्त पर असर डालता है.
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डाइट भी ब्रेन फॉग की वजह हो सकती है. जैसे-विटामिन बी12 दिमाग के कामकाज में सहायता करता है. विटामिन बी12 की कमी इसे प्रभावित कर सकती है और ब्रेन फॉग ला सकती है.
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सूजन, थकान या बल्ड शूगर के स्तर में परिवर्तन से जुड़ी मेडिकल कंडीशन भी मानसिक थकान का कारण बन सकती है.
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इस स्थिति में सुधार के लिए आपको कुछ बातों का ध्यान रखना होगा. आप अच्छी नींद लेकर, तनाव को मैनेज करके, कैफीन व अल्कोहल का सेवन न करके, रोज वर्कआउट करके इसमें सुधार ला सकते हैं.
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इसके अलावा ब्रेन एक्सरसाइज जैसे पज़ल खेलना और अच्छी डाइट लेकर भी ब्रेन फॉग को कंट्रोल किया जा सकता है. इसकी वजह की पहचान कर डॉक्टर से संपर्क कर इसकी वजह तक भी पहुंचा जा सकता है.
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