चाणक्य ने अपनी नीतियों के बल पर एक छोटे से बालक चंद्रगुप्त मौर्य को सम्राट बनाया.
मौर्य वंश की स्थापना चाणक्य की सबसे बड़ी उपलब्धियों में से एक मानी जाती है.
आचार्य ने मनुष्य के जीवन के लिए अपनी नीतियों को 'चाणक्य नीति' नाम के नीति शास्त्र में समाहित किया.
इसमें उन्होंने व्यक्ति के जन्म से लेकर मृत्यु तक हर पहलू से जुड़ी चीजों का जिक्र किया है.
वो कहते हैं कि लंबे नाखून वाले शेर, भालू, बाघ आदि पर भरोसा नहीं किया जा सकता.
नदी पार करते वक्त उसकी गहराई और प्रवाह को लेकर किसी व्यक्ति के कहने पर भरोसा नहीं करना चाहिए.
चाणक्य कहते हैं कि सींग वाले पशुओं और हथियार धारण किए हुए व्यक्ति का भी विश्वास नहीं किया जा सकता.
चाणक्य राजकुल यानी शासन की चर्चा करते हुए कहते हैं कि राजनीति हमेशा परिवर्तनशील होती है.
चाणक्य कहते हैं सत्ता का मोह ऐसा होता है कि व्यक्ति अपने पिता और संतान को भी भूल जाता है.