26 nov 2024
aajtak.in
मार्गशीर्ष मास के कृष्ण पक्ष की एकादशी को उत्पन्ना एकादशी का व्रत रखा जाता है. उत्पन्ना एकादशी को देवी एकादशी के नाम से भी जाना जाता है.
उत्पन्ना एकादशी का व्रत 26 नवंबर को यानी आज रखा जा रहा है. ज्योतिषियों की मानें तो, इस दिन कुछ गलतियों से सावधान रहना चाहिए.
एकादशी के दिन तुलसी को जल अर्पित नहीं करना चाहिए और न उसे छूना चाहिए. क्योंकि तुलसी माता भी इस दिन श्रीहरि के लिए उपवास रखती हैं.
एकादशी की रात सोने के बजाय पूरी रात भगवान विष्णु और मां लक्ष्मी की आराधना करें.
इस दिन बाल और नाखून भी नहीं कटवाने चाहिए. इसके अलावा, एकादशी के दिन क्रोध करने से बचना चाहिए.
एकादशी के दिन तामसिक भोजन ग्रहण नहीं करना चाहिए और न ही प्याज लहसुन का सेवन करना चाहिए.
उत्पन्ना एकादशी के दिन चावल खाना भी वर्जित माना जाता है. इस दिन घर में चावल भी नहीं बनाना चाहिए.
एकादशी के पूजा में काले रंग के वस्त्र धारण नहीं करने चाहिए. माना जाता है कि काला रंग नकारात्मकता का प्रतीक होता है.