ज्योतिष शास्त्र में पीतल को मां लक्ष्मी की धातु माना जाता है. तभी तो धनतेरस या अक्षय तृतीया जैसे शुभ अवसरों पर लोग पीतल के बर्तनों की खरीदारी ज्यादा करते हैं.
हालांकि वास्तु शास्त्र में पीतल के बर्तनों के सही रख रखाव के कुछ नियम नियम भी बताए गए हैं, जिन्हें न अपनाने से मां लक्ष्मी रुष्ट हो सकती हैं.
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वास्तु शास्त्र के जानकार कहते हैं कि घर या रसोई में पीतल के बर्तन रखते वक्त दिशाओं का विशेष ख्याल रखना चाहिए.
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कहते हैं कि पीतल के बर्तन हमेशा घर की पश्चिम दिशा में ही रखने चाहिए. किसी अन्य दिशा में पीतल के बर्तन रखने की गलती न करें.
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दूसरा, घर में जिस स्थान पर आप पीतल के बर्तन रख रहे हैं, वहां कभी अंधेरा नहीं होना चाहिए. ऐसी जगह पर प्रकाश की पर्याप्त व्यवस्था होनी चाहिए.
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वास्तु के अनुसार, गलत दिशा और अंधेरी जगह पर बर्तन रखने से मां लक्ष्मी नाराज हो जाती हैं, जिसके कारण धन का नाश होने लगता है.
ज्योतिष के जानकारों का कहना है कि गलत दिशा में पीतल के बर्तन रखने से शनि दोष भी लगता है. जीवन में तमाम तरह की समस्याएं आने लगती हैं.
शनि दोष के चलते आर्थिक मोर्चे पर तंगी का सामना करना पड़ता है. परिवार की सारी सुख-शांति भंग हो जाती है. रोग-बीमारियां घेरने लगते हैं.