बच्चों से लेकर बड़ों तक, लगभग हर किसी को केले का फल पसंद होता है. जिम जाने वाले लोग अक्सर केले का शेक या फल खाना पसंद करते हैं.
लगभग हर किसी ने कभी न कभी केले का फल देखा या खाया जरूर होगा. हालांकि, क्या आपने कभी इस बात पर गौर किया है कि केले का फल सीधा नहीं होता है.
कच्चा केला, पके हुए केले के मुकाबले थोड़ा सीधा होता है. क्या आपने कभी सोचा है कि ऐसा क्यों होता है?
आइए जानते हैं कि पके हुए केले का फल सीधा क्यों नहीं होता.
दरअसल, जब केले का फल कच्चा होता है तो वह गुच्छे में होता है. शुरुआती दौर में केला जमीन की तरफ बढ़ता है.
हालांकि, जैसे-जैसे केले का फल पकना शुरू होता है, वो निगेटिव जियोट्रॉपिज्म की प्रवृति पर बढ़ता है.
केले के पेड़ सबसे पहले रेनफॉरेस्ट के मध्य में पैदा हुए थे. रेनफॉरेस्ट में सूरज की रोशनी सही तरीके से नहीं पहुंच पाती.
इसी कारण से विकसित होने के लिए पेड़ों ने खुद को उस हिसाब से ढाल लिया और फिर विकसित होने के लिए फल सूरज की रोशनी की तरफ बढ़ने लगे.
केले का फल सूरज की रोशनी के लिए ऊपर की ओर बढ़ता है. इसी वजह से केले का आकार टेढ़ा होता है.