कोई बना नेता, कोई कर रहा कमेंट्री... जानें कहां हैं 1983 वर्ल्ड कप के चैम्पियंस?

Aajtak.in/Sports

26  June 2023

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1983 क्रिकेट वर्ल्ड कप में भारतीय टीम की खिताबी जीत के 40 साल पूरे हो चुके हैं . आइए जानते हैं उन खिलाड़ियों के बारे में जो उस वर्ल्ड कप के फाइनल मैच में प्लेइंग-11 का पार्ट थे.

1. कपिल देव की कप्तानी में ही भारत ने यह यादगार जीत हासिल की थी. कपिल देव ने फाइनल मैच में 15 रन और एक विकेट लेने के साथ-साथ विव रिचर्ड्स का शानदार कैच लिया था. कपिल देव टीवी चैनलों पर एक्सपर्ट की भूमिका में दिखते हैं.

2. सुनील गावस्कर का विंडीज के खिलाफ फाइनल मैच में प्रदर्शन कुछ खास नहीं रहा था और वो सिर्फ दो रन बना पाए थे. सुनील गावस्कर कमेंट्री की भूमिका में सक्रिय हैं. 

3. ओपनर बल्लेबाज कृष्माचारी श्रीकांत ने फाइनल मैच में सबसे ज्यादा 38 रन बनाए थे. श्रीकांत टीम इंडिया के चीफ सेलेक्टर भी रह चुके हैं. श्रीकांत क्रिकेट एक्सपर्ट की भूमिका में नजर आते हैं.

4. मोहिंदर अमरनाथ सेमीफाइनल और फाइनल मुकाबले में प्लेयर ऑफ द मैच रहे थे. मोहिंदर अमरनाथ भी एक्सपर्ट की भूमिका में दिखाई देते हैं.

5. यशपाल शर्मा अब इस दुनिया में नहीं हैं. यशपाल ने फाइनल मुकाबले में 11 रन बनाए थे. 13 जुलाई 2021 को यशपाल का हार्टअटैक से निधन हो गया था. 

6. संदीप पाटिल ने फाइनल मैच में 27 रनों की ताबड़तोड़ पारी खेली थी. संदीप टीम इंडिया के चीफ सेलेक्टर भी रह चुके है. संदीप कभी कभार एक्सपर्ट की भूमिका में नजर आते हैं.

7. कीर्ति आजाद ने फाइनल मुकाबले में कोई खास योगदान नहीं दिया. कीर्ति राजनीति में सक्रिय में हैं और फिलहाल ऑल इंडिया तृणमूल कांग्रेस का हिस्सा हैं.

8. रोजर बिन्नी ने उस वर्ल्ड कप में सबसे ज्यादा 18 विकेट लिए थे. फाइनल मुकाबले में भी रोजर ने एक विकेट चटकाया था. रोजर बिन्नी फिलहाल भारतीय क्रिकेट नियंत्रण बोर्ड के अध्यक्ष हैं.

9. मदन लाल ने वर्ल्ड कप फाइनल में शानदार गेंदबाजी करते हुए तीन विकेट लिए थे. मदन लाल फिलहाल टीव चैनल पर क्रिकेट एक्सपर्ट की भूमिका में दिखाई देते हैं.

10. बलविंदर संधू ने फाइनल मैच में 2 विकेट लेकर मदन लाल और रोजर बिन्नी का बढ़िया साथ निभाया था. बलविंदर मीडिया से दूर रहना पसंद करते हैं.

11. विकेटकीपर बल्लेबाज सैयद किरमानी ने फाइनल मुकाबले में 14 रन बनाए थे. किरमानी उतने लाइमलाइट में नहीं रहते हैं.

रवि शास्त्री, दिलीप वेंगसरकर और सुनील वाल्सन भी वर्ल्ड कप टीम का हिस्सा थे, लेकिन उन्हें फाइनल मैच की प्लेइंग-11 में जगह नहीं मिली थी.