अपनी किताब द्वारा अलकायदा सरगना ओसाबा बिन लादेन पर कार्रवाई का रहस्य उजागर करने वाले अमेरिका के पूर्व नेवी सील कमांडो ने किसी गोपनीय दस्तावेज को लीक करने के आरोप से इंकार किया है. पूर्व कमांडो ने मार्क ओवन के नाम से किताब लिखी है.
खबरों के अनुसार ओवन के अधिवक्ता रॉबर्ट लस्किन ने कहा कि उनके मुवक्किल ने निष्ठा से अपना कर्तव्य निभाया है और गोपनीय दस्तावेज सम्बंधी पेंटागन के समझौते का उल्लंघन नहीं किया है.
लस्किन पेंटागन के जनरल काउंसिल जे जॉनसन के उस पत्र का जवाब दे रहे थे जिसमें कहा गया था कि पूर्व कमांडो को किताब प्रकाशित करने से पहले कानूनी सलाह लेनी चाहिए थी. जॉनसन ने कहा था कि किताब की बारीकी से समीक्षा की जानी चाहिए थी ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि इसमें कोई गोपनीय मामले का खुलासा तो नहीं हो रहा है.
पेंटागन की तरफ से भेजे गए इस पत्र में कहा गया था कि 'नाट ईजी डे' की समीक्षा के बाद मालूम हुआ कि गोपनीयता के समझौते का उल्लंघन किया गया है और इसके लिए ओवन के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की धमकी भी दी गई थी.
ओवन ने नौसेना में सक्रिय रूप से शामिल होने से पहले 2007 में और छोड़ने के बाद अप्रैल 2012 में गोपनीयता समझौते पर हस्ताक्षर किए थे.
पत्र के अनुसार, 'जैसे जैसे लोगों में तुम्हारी किताब का प्रसार होगा तुम्हारे इस समझौते के उल्लंघन का मामला और भी गहरा होगा.'
इस किताब का विमोचन 9/11 हमले की 11वीं बरसी पर प्रस्तावित था लेकिन किताब की जबरदस्त मांग को देखते हुए विमोचन की तारीख चार सितम्बर तय की गई है.
किताब को प्रकाशित करने वाले पेंग्विन समूह के प्रवक्ता ने शुक्रवार को अपने बयान में बताया कि वह वह पेंटागन की चेतावनी के बावजूद किताब के विमोचन की निर्धारित तिथि नहीं बदलेंगे.
मीडिया की रपटों के अनुसार ओवन ने इस किताब में ओसामा बिन लादेन के साथ मुठभेड़ से सम्बंधित तथ्यों पर प्रकाश डाला है जो अमेरिकी प्रशासन द्वारा जारी की गई जानकारियों के विपरीत है.