उत्तर कोरिया से पैदा हुए खतरे के जवाब में दक्षिण कोरिया बैलिस्टिक मिसाइल विकसित करेगा. यह जानकारी राष्ट्रपति कार्यालय ने रविवार को यहां दी है.
समाचार एजेंसी सिन्हुआ के अनुसार, मिसाइल की मारक क्षमता 800 किलोमीटर की होगी, जो मौजूदा सीमा से दोगुनी है, यह मिसाइल उत्तर कोरिया में किसी भी लक्ष्य तक पहुंचने में सक्षम होगी.
उत्तर कोरियाई बैलिस्टिक मिसाइल की मारक क्षमता 3,000 किलोमीटर है और यह पूरे कोरियाई प्रायद्वीप के साथ ही जापान और गुआम में अमेरिकी सैन्य ठिकानों को निशाना बनाने में सक्षम है.
विदेशी मामलों और राष्ट्रीय सुरक्षा पर राष्ट्रपति के सचिव चुन यंग-वू ने कहा कि दक्षिण कोरिया हालांकि मुखास्त्र की मौजूदा सीमा 500 किलोमीटर अपरिवर्तित रखेगा.
दक्षिण कोरिया लंबे समय से मांग कर रहा है कि वाशिंगटन के साथ 1979 में हुए मिसाइल समझौते का पुनरीक्षण किया जाए.
यह समझौता दक्षिण कोरिया को लंबी दूरी की बैलिस्टिक मिसाइल विकसित करने से रोकता है, जबकि उसके उत्तरी पड़ोसी उत्तर कोरिया से उसके खिलाफ मिसाइल खतरे बढ़ते जा रहे हैं.