दक्षिण-पश्चिमी पाकिस्तान के क्वेटा शहर में शनिवार को एक शक्तिशाली बम विस्फोट में महिलाओं और बच्चों समेत 69 लोगों की मृत्यु हो गई जबकि लगभग 200 अन्य लोग घायल हो गए. बताया जाता है इस विस्फोट में 100 किलो विस्फोटक का इस्तेमाल किया गया था.
विस्फोट क्वेटा के उपनगरीय शहर हजारा के किरानी रोड पर हुआ, जहां शिया समुदाय के लोग अच्छी खासी संख्या में रहते हैं. विस्फोट के समय इलाके में भीड़भाड़ थी. डीआईजी वजीर खान नासिर ने संवाददाताओं से कहा कि बम को एक वाहन में छिपाकर रखा गया था और विस्फोट को रिमोट कंट्रोल के जरिए अंजाम दिया गया.
विस्फोट इतना शक्तिशाली था कि 60 से ज्यादा दुकानें मलबे में तब्दील हो गईं और मलबे में कई लोग दब गए. इस वजह से मृतकों की संख्या बढ़ने की आशंका है. उर्दू टीवी चैनल 'दुनिया' के मुताबिक, घायलों में कई की हालत गंभीर है. घटनास्थल पर राहत कार्य जारी है. मलबे में दबे लोगों को बाहर निकालने का काम शुरू कर दिया गया है.
क्वेटा के पुलिस उप-महानिरीक्षक वजीर खान ने कहा कि रिमोट कंट्रोल के जरिए विस्फोट को अंजाम दिया गया और विस्फोटक एक रिक्शा में रखे गए थे. उन्होंने कहा कि जिस शहर में विस्फोट वहां हाजरा समुदाय के शिया मुसलमान की बहुलता है.
विस्फोट के बाद शिया मुसलमानों ने घटनास्थल को घेर लिया और प्रदर्शन किया. उन्होंने राहत दल, मीडिया और पुलिस को घटनास्थल पर जाने से रोका. प्रदर्शनकारियों का कहना था कि पिछले दो साल में हाजरा समुदायों को निशाना बनाकर कई हमले किए गए लेकिन सरकार उन्हें समुचित सुरक्षा मुहैया कराने में विफल रही.
सुरक्षा के मद्देनजर घायल 30 महिलाओं और बच्चों को क्वेटा के सैन्य अस्पताल में भर्ती कराया गया है. अस्पताल के सूत्रों का कहना है कि मृतकों की संख्या बढ़ सकती है क्योंकि घायलों में कई की हालत गंभीर है.
शिया मुसमानों के संगठन मजलिस-ए-वाहदत ने विस्फोट के मद्देनजर तीन दिन के शोक की घोषणा की है और रविवार को क्वेटा बंद का ऐलान किया है. अब तक किसी संगठन ने इस हमले की जिम्मेदारी नहीं ली है.