मॉरीशस सरकार ने तय किया है कि पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के सम्मान में देश के सभी सरकारी भवनों में मॉरीशस और भारत के राष्ट्र ध्वज शुक्रवार को आधे झुके रहेंगे.
मॉरीशस के प्रधानमंत्री प्रवीण कुमार जगन्नाथ ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को एक पत्र लिखकर वाजपेयी के निधन पर शोक जताया और दिवंगत नेता को श्रद्धांजलि अर्पित की.
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गौरतलब है कि यहां मॉरीशस में स्वामी विवेकानंद अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन केंद्र में 18 अगस्त से तीन दिवसीय 11वां विश्व हिंदी सम्मेलन शुरू हो रहा है. आयोजन स्थल को गोस्वामी तुलसी दास नगर नाम दिया गया है. विदेश मंत्री सुषमा स्वराज के शनिवार सुबह मॉरीशस पहुंचने की उम्मीद है.
जगन्नाथ ने अपने शोक संदेश में कहा है कि भारत के पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के निधन के बारे में जानकर उन्हें बहुत दुख हुआ और व्यक्तिगत आघात पहुंचा है. उन्होंने कहा, मैं श्री अटल बिहारी वाजपेयी के परिवार के प्रति गहरी संवेदना प्रकट करता हूं.
जगन्नाथ ने कहा कि जब मॉरीशस 11वें विश्व हिंदी सम्मेलन की मेजबानी कर रहा है, हम हिन्दी भाषा में वाजपेयी की महारत को याद कर रहे हैं, जो उनके भाषणों और कविताओं में बखूबी जाहिर हुई है. वह एकता, इतिहास को जोड़ने के साधन, साझा मूल्यों और साझा संस्कृति के प्रतीक के तौर पर हिंदी की शक्ति में पूरा यकीन रखते थे.
उन्होंने कहा कि वाजपेयी ने अपने साहसिक नेतृत्व से और आम आदमी के लिए अपनी सहानुभूति के जरिए भारत के भविष्य को आकार दिया. आज, जब भारत वैश्विक स्तर पर तरक्की और विकास के प्रतीक के रूप में चमक रहा है, हम वाजपेयी के मजबूत और सक्षम नेतृत्व को नहीं भूल सकते.
मॉरीशस के प्रधानमंत्री ने कहा कि वह न सिर्फ भारत के नेताओं के लिए बल्कि दुनिया भर के नेताओं के लिए पथ प्रदर्शक बने रहेंगे.
उन्होंने कहा कि मॉरीशस और उसके लोगों के लिए वाजपेयी का गहरा लगाव उस वक्त स्पष्ट रूप से नजर आया था जब नेशनल डे सेलेब्रेशन में वह मुख्य अतिथि के रूप में मार्च 2000 में आए थे. वाजपेयी के प्रधानमंत्री रहने के दौरान उनके नेतृत्व के तहत मॉरीशस और भारत के संबंधों ने नई ऊंचाइयों को छुआ.
बता दें कि 11 वें विश्व हिंदी सम्मेलन का उद्घाटन 18 अगस्त 2018 को सुबह दस बजे मॉरीशस के प्रधानमंत्री प्रवीण कुमार जगन्नाथ करेंगे. सम्मेलन स्थल पर अभिमन्यु अनत, गोपालदास नीरज, भानुमति नागदान और सुरूज प्रसाद मंगर जैसे हिंदी रचनाकारों के नाम पर मुख्य सभागार एवं समानातंर सत्रों के कक्षों के नाम रखे गए हैं. तीन दिवसीय इस सम्मेलन का समापन 20 अगस्त 2018 को होगा.