चीन में बच्चों को सेक्स एजुकेशन देने के लिए बनाए गए तीन वीडियो वायरल हो गए हैं. इनमें बच्चों को सिखाया जा रहा है कि वे कैसे यौन शोषण से बच सकते हैं.
तीनों वीडियो एक-एक मिनट के हैं, जिनमें हाथ से बनाए गए एनिमेशन के जरिए 'बच्चे कहां से आते हैं', 'लड़कियों से लड़के क्यों अलग हैं' और 'कैसे नाबालिग बच्चे यौन शोषण से बच सकते हैं', जैसे सवालों के जवाब देने की कोशिश की गई है.
चीन में आज भी सेक्स एजुकेशन एक विवादित मुद्दा है. ऐसे में एनिमेटर्स का कहना है कि वे बच्चों को इस बारे में बुनियादी जानकारी देना चाहते हैं.
ये वीडियो पिछले हफ्ते रिलीज के साथ ही चीन में हिट हो गए. इन्हें अब तक 10 लाख से ज्यादा बार देखा जा चुका है.
कार्टून क्रिएटर जाओ यिलोंग का कहना है कि चीन में बच्चों के साथ लगातर बढ़ते यौन शोषण के मामलों ने उन्हें काफी दुखी कर दिया और वे इस बारे में कुछ करना चाहते थे. उनका कहना है कि वे बच्चों को बुनियादी जानकारी देकर इस गंभीर समस्या से निपटना चाहते हैं.
उन्होंने कहा, 'बच्चों में सेक्स को लेकर जिज्ञासा होती है, इसलिए हम उन्हें इस बारे में कार्टून के जरिए समझाना चाहते थे.'
चीन में हाल ही में कराए गए अध्ययन से यह बात सामने आई थी कि पांच में से केवल एक अभिभावक अपने बच्चों को बतातें है कि अगर कोई उनका यौन शोषण करता है तो उन्हें किस तरह मदद मांगनी चाहिए.
चीन के 1,100 अभिभावकों पर कराए गए सर्वे के मुताबिक तीन में से केवल एक ने कहा कि उन्होंने अपने 'बच्चों को प्राइवेट पार्ट्स के बारे में बताया है, जिन्हें कोई और नहीं छू सकता.'
चीन में जब पूछा जाता है कि बच्चे कहां से आते हैं तो आमतौर पर जवाब दिया है कि 'बच्चों को कूड़े के ढेर से उठाया जाता है'. वहीं, इस एक मिनट की क्लिप में इसे गलत करार देते हुए बताया गया है कि स्पर्म और अंडों के मेल से बच्चों को गर्भ में धारण किया जाता है.
दूसरे वीडियो में पुरुष और स्त्री के जननांगों की तुलना प्लग और सॉकेट से की गई है और बताया गया है कि वीर्यारोपण इंजेक्शन लगाने की प्रक्रिया की तरह है.
जाओ कहते हैं, 'सेक्स एजुकेशन के लिए इंटरनेट एक प्रभावी टूल बन गया है, लेकिन यह अभिभावकों और स्कूलों की भूमिका नहीं बदल सकता.'
बहरहाल, चीन में स्कूलों में बच्चों को बेहतर सेक्स एजुकेशन देने की मांग जोर पकड़ रही है. इस साल कराए गए सर्वे में यह बात सामने आई है कि 90 फीसदी अभिभावक चाहते हैं कि क्लासरूम में टीचर बच्चों को सेक्स एजुकेशन दें. हालांकि चीन में 1,000 में से केवल एक स्कूल इस बारे में बच्चों को शिक्षा देता है.