फिलीपींस सरकार ने कहा है कि दक्षिण चीन सागर में अपने दावों की रक्षा करने के लिए वह उचित कूटनीतिक कार्रवाई कर रही है. हालांकि उसने टकराव से बचने की नीति अपनाते हुए इस संदर्भ में चीन का नाम नहीं लिया.
चीन ने विवादित सागर में सैन्य संबंधी अपनी कार्रवाई में अपने कब्जे वाले एक द्वीप पर कथित रूप से पहली बार लंबी दूरी के बमवर्षक विमान तैनात किए हैं , जिससे अंतरराष्ट्रीय समुदाय चिंता में है .
पेंटागन के एक प्रवक्ता ने पिछले हफ्ते कहा था कि विवादित क्षेत्र का चीन द्वारा सैन्यीकरण करने से क्षेत्र में अस्थिरता आएगी. फिलीपींस के विदेश विभाग ने सोमवार को दोहराया था कि सरकार अपने संप्रभु अधिकार वाले क्षेत्र के एक-एक इंच की रक्षा करने के लिए पूरी तरह से प्रतिबद्ध है.
अमेरिका ने भी विवादित क्षेत्र में अपने जहाज भेजे हैं. फिलीपींस सरकार ने कहा है कि वह मामले पर नजर बनाए रखे है. बता दें कि इस क्षेत्र को लेकर फिलीपींस, मलेशिया, ताईवान और वियतनाम ने भी अपने दावे पेश किए हैं.
फिलीपींस के सांसदों ने इस मामले में चीन को सख्त संदेश न देने को लेकर अपने राष्ट्रपति रोद्रिगो दुतेर्ते की आलोचना की है . दूसरी तरफ, चीन ने कहा है कि वह विवादित क्षेत्र में वे सब कर सकता है जो वह अपनी जमीन पर करता है .