इराक में आतंकवादी संगठन इस्लामिक स्टेट को पूरी तरह से नेस्तानाबूद करने की घोषणा के बाद पहली बार हो रहे संसदीय चुनाव के लिए शनिवार को मतदान शुरू हो गया. हिंसा प्रभावित इस देश में कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच मतदान केन्द्रों को खोला गया. यहां वैसे तो हिंसा की घटनाओं में गिरावट आई है लेकिन जिहादी अभी भी खुरक्षा के लिए बड़ा खतरा बने हुए हैं.
निवर्तमान प्रधानमंत्री हैदर अल अब्दी दोबारा सत्ता में आने के लिए चुनाव लड़ रहे हैं. 2014 में जब उन्होंने देश की बागडोर संभाली थी उस वक्त आईएस पूरी तरह देश में पैर पसार चुका था और इसे शिकस्त देने का लाभ वह इन चुनावों में लेना चाहते हैं.
एक वरिष्ठ सुरक्षा अधिकारी ने बताया कि नौ लाख पुलिसकर्मियों तथा सैनिकों को हाई अलर्ट पर रखा गया है. हवाई अड्डों तथा सीमाओं को एक दिन के लिए बंद किया गया है. मतदान केन्द्र शाम छह बजे तक खुले रहेंगे तथा प्रारंभिक परिणाम तीन दिन में आने की उम्मीद है.
इराक में सत्ता का संतुलन कया रुख़ लेगा ये तय होगा जब इराक़ चुनाव के नतीजे आएंगे. ये चुनाव इसलिए भी इराक़ के लिए बेहद अहम हैं क्योंकि इस्लामिक स्टेट के ख़ात्मे के बाद ये वहां होने वाले पहले चुनाव हैं.