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यूरोपीय यूनियन के सांसद बोले- बलूचिस्तान मामले में दखल दें डोनाल्ड ट्रंप

यूरोपीय यूनियन के 16 सांसदों ने डोनाल्ड ट्रंप से बलूचिस्तान मसले पर हस्तक्षेप करने की मांग की है. पत्र में मांग की गई है कि बलूचिस्तान के लोगों को आतंकवादी भी नहीं कहा जाना चाहिए.

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अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (फाइल फोटो)
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (फाइल फोटो)

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अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान सोमवार को व्हाइट हाउस में मुलाकात करेंगे. इससे पहले यूरोपीय यूनियन के 16 सांसदों ने डोनाल्ड ट्रंप से बलूचिस्तान मसले पर हस्तक्षेप करने की मांग की है. इसके अलावा पत्र में लिखा गया है कि बलूचिस्तान के लोगों को आतंकवादी भी नहीं कहा जाना चाहिए.

पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने शनिवार को अमेरिका की तीन दिवसीय यात्रा शुरू की है, जहां वे 22 जुलाई को राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से तनावपूर्ण द्विपक्षीय संबंधों को दोबारा पटरी पर लाने की कोशिश करेंगे. खान 2018 में पदभार ग्रहण करने के बाद ऐसे समय में पहली अमेरिका यात्रा कर रहे हैं जब पाकिस्तान व्यापार घाटे, विदेशी मुद्रा की कमी और विदेशी निवेश की जरूरत के कारण कठिन स्थिति में है.

इमरान खान की यह यात्रा ऐसे समय में हो रही है, जब पाकिस्तान ने अमेरिका की ओर से जताई गई चिंताओं के बावजूद अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष से छह अरब डॉलर का बेलआउट प्राप्त किया है. व्हाइट हाउस के अनुसार, खान की यात्रा वाशिंगटन और इस्लामाबाद के बीच क्षेत्र में शांति, स्थिरता और आर्थिक समृद्धि लाने पर केंद्रित होगी.

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यूरोपीय यूनियन के सांसदों ने पत्र में लिखा है कि बलूचिस्तान जो कि पाकिस्तान का हिस्सा है, आज कॉनफ्लिक्ट जोन में तब्दील हो चुका है. बलूचिस्तान में लगातार हिंसा का दौर शुरू है जिसकी शुरुआत 1947 में हो गई थी. दशकों से बलूच लोग अपनी संस्कृति बचाने के लिए जूझ रहे हैं. वहां के लोग अपनी राजनीतिक आजादी के लिए काफी कठिनाई से लड़ रहे हैं. इन सब के बीच बलूच लोगों को पाकिस्तानी अधिकारियों, सरकार और सेना के हाथों परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.

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