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गूगल के भारतीय मूल के कर्मचारी को 544 करोड़ का बोनस

सोचिए कि अगर किसी शख्स को 544 करोड़ रुपये का बोनस मिले तो उसकी खुशियों की क्या सीमा होगी. अमेरिका में भारतीय मूल के एक शख्‍स को इतना ही बोनस मिला है.

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सोचिए कि अगर किसी शख्स को 544 करोड़ रुपये का बोनस मिले तो उसकी खुशियों की क्या सीमा होगी. अमेरिका में भारतीय मूल के एक शख्‍स को इतना ही बोनस मिला है.

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किसी दफतर में काम करने वाले किसी अधिकारी को 544 करोड़ का बोनस. इस खबर को सुनकर भरोसा नहीं होगा लेकिन विश्वास दिलाने के बाद आश्चर्य और हैरानी के अलावा कुछ और नहीं हो सकता. दुनिया की सबसे बड़ी इंटरनेट कंपनी गूगल के एडवरटाइजिंग प्रोडक्ट्स के उपाध्यक्ष भारतीय मूल के अमेरिकी नागरिक नील मोहन को कंपनी ने करीब 544 करोड़ का बोनस दिया है.

नील मोहन पर गूगल इसलिए मेहरबान हुई क्योंकि उसे डर था कि नील कहीं कंपनी न छोड़ दें. नील को खुश करने के लिए गूगल ने उन्हें 100 मिलियन डॉलर यानी करीब 544 करोड़ रुपये बतौर बोनस दे दिया. 39 साल के मोहन को टि्वटर से नौकरी का ऑफर मिला था, लेकिन गूगल ने भारी भरकम बोनस देकर फिलहाल उन्हें रोक लिया है. नील मोहन पर अरबों रुपए खर्च करने के पीछे वजह भी है.

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गूगल को नील के बूते इस साल सात बिलियन डॉलर यानी करीब 38,108 करोड़ रुपए कमाने की उम्मीद है. नील के दोस्त और उनके साथ काम करने वाले लोगों का कहना है कि उनमें आधुनिक तकनीक की समझ और उससे जुड़ी बिजनेस स्ट्रेटेजी पर जबरदस्त पकड़ है. नील मोहन और उनकी पत्नी हेमा सरीम मोहन का सैन फ्रांसिस्को में एक आलीशान घर है, जिसकी कीमत 5.2 मिलियन डॉलर है.

नील ने करियर की शुरुआत 1997 में की थी और उनकी शुरुआती सालाना तनख्वाह ही 60,000 डॉलर थी. नील पर डॉलर की बरसात ने एक बार फिर साबित किया है कि काबिलियत का कोई सानी नहीं.

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