तालिबान की तर्ज पर मुंबई हमले के मास्टरमाइंड हाफिज सईद की अगुवाई वाले संगठन जमात-उद-दावा ने ‘सहज और त्वरित न्याय’ देने के लिए एक शरिया अदालत का गठन किया है.
जेयूडी ने अपने मुख्यालय जामिया कदसिया में शरिया अदालत की स्थापना की है. इस अदालत का नेतृत्व काजी कर रहा है और खादिम उसका सहयोग कर रहे हैं. दारूल कजा शरिया एक समानांतर न्याय व्यवस्था है, जिसका गठन लाहौर में ‘सहज और त्वरित न्याय’ प्रदान करने के लिए किया गया है.
'यह मध्यस्थता अदालत है'
जमात-उद-दावा के समन की एक प्रति के मुताबिक, यह संगठन बीते कुछ महीने से निजी स्तर से न्याय मुहैया करा रहा है. संगठन के प्रवक्ता याहया मुजाहिद ने ‘शरिया अदालत’ का बचाव किया है. उसने डॉन न्यूज से कहा, 'शरिया अदालत देश की संवैधानिक अदालतों के समानांतर व्यवस्था नहीं है. यह मध्यस्थता अदालत है जो पक्षों की रजामंदी से विवादों पर फैसला करती है.'
मुजाहिद ने आगे कहा कि विवादों का निवारण इस्लामी कानूनों के तहत हो रहा है और विवाद से घिरे संगठन के बीच मध्यस्थता करना गैरकानूनी नहीं है.