हिज्बुल्लाह पर इजरायल कहर बनकर टूट रहा है. हिज्बुल्लाह चीफ हसन नसरल्लाह के खात्मे के बाद इजरायल ने उनके संभावित उत्तराधिकारी हाशेम सैफीद्दीन को भी मार गिराने की पुष्टि कर दी है.
इजरायली सेना का कहना है कि बेरूत में तीन हफ्ते पहले हवाई हमले में सैफीद्दीन को मार गिराया गया था. लेकिन इजरायल के इस बयान के पर हिज्बुल्लाह ने अभी तक कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है.
नसरल्लाह के रिश्तेदार सैफीद्दीन को हिज्बुल्लाह की जिहाद काउंसिल ने नियुक्त किया था. वह हिज्बुल्लाह के वित्तीय और प्रशासनिक मामलों की देखरेख कर रहा था. उन्हें नसरल्लाह के उत्तराधिकारी के तौर पर देखा जा रहा था.
बता दें कि इससे पहले इजरायली PM बेंजामिन नेतन्याहू ने कहा था कि इजरायली सेना ने हिज्बुल्लाह के मारे जा चुके चीफ हसन नसरल्लाह के उत्तराधिकारी को खत्म कर दिया है. हालांकि, उस समय नाम का खुलासा नहीं किया था.
हालांकि, इजरायली रक्षा मंत्री योव गैलेंट ने कहा था कि मारे जा चुके हिज्बुल्लाह चीफ हसन नसरल्ला के संभावित उत्तराधिकारी हाशेम सफीद्दीन को संभवतः मार दिया गया है.
हिज्बुल्लाह के 400 से ज्यादा ऑपरेटिव ढेर
मिडिल ईस्ट में तनाव तेजी से बढ़ रहा है. विशेषज्ञों का मानना है कि ये हमले इजरायल और लेबनान के बीच जारी तनाव को और गहरा सकते हैं क्योंकि पहले से ही दक्षिणी लेबनान में इजरायली हमलों के कारण हालात गंभीर बने हुए हैं.
इजरायली रक्षा बल (IDF) ने दावा किया है कि अब तक दक्षिणी लेबनान में चल रहे जमीनी अभियानों के दौरान 400 से अधिक हिज्बुल्लाह ऑपरेटिवों को मार गिराया गया है. इन ऑपरेटिवों में कई क्षेत्रीय कमांडर भी शामिल हैं.
दम घुटने से हुई थी नसरल्लाह की मौत
हसन नसरल्लाह की मौत जहरीले धुएं की वजह से दम घुटने से हुई थी. वह बेरूत में हिज्बुल्लाह के सीक्रेट बंकर में छिपे हुए थे, जहां 27 सितंबर को इजरायल के हमले में उनकी मौत हो गई. इजरायल के चैनल 12 ने अपनी रिपोर्ट में बताया था कि इजरायली हमले में नसरल्लाह का सीक्रेट बंकर तबाह हो गया था, जिससे 64 साल के नसरल्लाह की जहरीले धुएं में दम घुटने से मौत हो गई.
रिपोर्ट में बताया गया था कि भारी विस्फोट की वजह से जहरीले धुएं के कारण बंकर के भीतर सांस लेना मुश्किल था. बता दें कि हसन नसरल्लाह जिस इमारत में था. उसके आसपास के ब्लॉक में इजरायल ने 80-85 बंकर बस्टर बम गिराए थे. बंकर बस्टर यानी जमीन की गहराई में बने अड्डों को खत्म करने वाले बम. ये सतह के काफी नीचे जाकर भी तबाही मचाते हैं.
नसरल्लाह जिस इमारत में था, वहां पर बम गिरने से 30 फीट गहरा गड्ढा हो गया था. जीबीयू-72 परिवार के बंकर बस्टर बम की खासियत यही होती है, कि ये स्टील, कॉन्क्रीट की मोटी दीवारों को तोड़कर 30 से 60 फीट की गहराई तक हमला कर सकते हैं.
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, घटनास्थल से जब नसरल्लाह का शव बरामद किया गया तो उनके शव पर किसी तरह की बाहरी चोट के निशान नहीं थे.