पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) प्रमुख इमरान खान ने शनिवार को प्रधानमंत्री नवाज शरीफ से इस्तीफे की मांग की. उन्होंने कहा कि पिछले साल के आम चुनावों में भारी हेराफेरी हुई थी, इसलिए चुनाव फिर से कराए जाएं.
समाचार एजेंसी सिन्हुआ के अनुसार, गुरुवार को खान के नेतृत्व में लाहौर में निकाली गई सरकार विरोधी रैली 36 घंटों की यात्रा के बाद शुक्रवार शाम राजधानी इस्लामाबाद पहुंची. खान ने हजारों समर्थकों को संबोधित करते हुए कहा कि वे तब तक धरना प्रदर्शन जारी रखेंगे, जब तक कि शरीफ इस्तीफा नहीं दे देते.
खान ने इस्लामाबाद के आबपाड़ा बाजार में धरने पर कहा, 'मैं यह जगह छोड़ने वाला नहीं हूं, जब तक देश को सच्ची आजादी नहीं मिल जाती.' सरकार ने राजधानी की सुरक्षा और हिंसक घटनाओं को रोकने के लिए पहले ही 30,000 सुरक्षाकर्मियों और सेना के जवानों को तैनात कर रखा है. खान का दावा है कि 2013 के आम चुनावों में भारी हेराफेरी हुई थी और शरीफ झूठे जनादेश के बल पर सत्ता में आए थे.
वहीं, सरकार और निर्वाचन आयोग ने खान के दावे को खारिज कर दिया है. खान ने कहा, 'मैं यहीं डटा रहूंगा. नवाज के पास एक ही रास्ता है कि वह इस्तीफा दें और चुनाव फिर से कराए जाएं.' उन्होंने 'आजादी मार्च' के समर्थकों और कार्यकर्ताओं से कहा, 'मैं धांधली वाले चुनाव को नहीं मानूंगा। लोकतंत्र और मतदान की विश्वनीयता को बनाए रखने के लिए यह चुनाव रद्द करना होगा.' उन्होंने कहा कि उनकी पार्टी ने निर्वाचन आयोग और सर्वोच्च न्यायालय से भी चुनाव में हुई भारी हेराफेरी की शिकायत की, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई. उन्होंने कहा कि उनकी रैली से लोकतंत्र को खतरा नहीं है.
इधर, सरकार ने प्रदर्शकारियों और रैली में कोई बाधा नहीं डाली, लेकिन राजधानी में 'रेड जोन' में प्रदर्शकारियों के प्रवेश को रोकने के लिए सड़कों पर कंटेनर्स रखकर क्षेत्र की नाकेबंदी कर दी गई है. शरीफ ने सरकार पर किसी तरह का खतरा मंडराने से इंकार किया. उनकी सरकार के मंत्रियों ने कहा कि शरीफ के इस्तीफे का सवाल ही नहीं उठता. सरकार ने खान पर सरकार को कमजोर करने और देश की समस्याओं के समाधान के लिए गंभीर कदम उठाने में प्रधानमंत्री के कार्यो में बाधा पहुंचाने का आरोप लगाया है.