पाकिस्तान के गृह मंत्री राणा सनाउल्लाह ने पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के नेता और पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान पर बड़ा आरोप लगाया है. इसमें दावा किया गया है कि खुफिया एजेंसियों ने एक फोन कॉल के जरिए एक बातचीत को ट्रेस किया है. इससे पता चला है कि इमरान खान की पार्टी कानून प्रवर्तन अधिकारियों को बदनाम करने की साजिश रच रही है.
सनाउल्लाह ने शनिवार रात जल्दबाजी में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस बुलाई. इसमें उन्होंने आरोप लगाया कि इस कदम का उद्देश्य कानून-प्रवर्तन एजेंसियों को अपराध में झूठा फंसाना और बाद में इस मुद्दे को अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर उठाना था. गृह मंत्री ने दावा किया कि देश की एजेंसियों ने पीटीआई नेता इमरान के घर फर्जी छापेमारी और बलात्कार की साजिश रचने सहित कई साजिशों का खुलासा करने वाली बातचीत को पकड़ा.
वहीं, पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ के अध्यक्ष इमरान ने रविवार को सनाउल्लाह पर पलटवार करते हुए कहा कि सनाउल्लाह साफ तौर पर मीडिया में आने वाली "डरावनी कहानियों" को छिपाने की कोशिश कर रहे हैं. इमरान ने ट्वीट किया, अगर जेलों में महिलाओं के साथ दुर्व्यवहार के बारे में कोई संदेह था, तो इस प्रमाणित अपराधी की इस प्रेस कॉन्फ्रेंस से ऐसे सभी संदेह दूर हो जाने चाहिए.
इमरान ने कहा कि महिलाओं के साथ कभी भी देश में इतना दुर्व्यवहार और उत्पीड़न नहीं किया गया, जितना इस फासीवादी सरकार द्वारा किया गया है. वो भी ऐसे समय किया गया जब वे शांतिपूर्ण विरोध करने के अपने अधिकार का प्रयोग कर रही थीं.
9 मई के बाद बढ़ीं इमरान की मुश्किलें
इमरान की मुश्किलें 9 मई को हुई हिंसक घटनाओं के बाद और अधिक बढ़ गई हैं. इमरान खान को कोर्ट से गिरफ्तार किया गया था. इमरान की गिरफ्तारी से भड़के इमरान समर्थक देशभर में सड़कों पर उतर आए थे. बाद में सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर इमरान को रिहा कर दिया गया था. हिंसा के इस मामले में कई लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है.
पाकिस्तान के स्वास्थ्य मंत्री ने उठाए थे मेंटल हेल्थ पर सवाल
हाल ही में पाकिस्तान के स्वास्थ्य मंत्री अब्दुल कादिर पटेल ने इमरान खान के मानसिक स्वास्थ्य पर सवाल उठाए थे. उन्होंने कहा था कि पूर्व प्रधानमंत्री के सैंपल्स की जांच में अल्कोहल और कोकीन के साक्ष्य मिले हैं. इमरान की मेडिकल रिपोर्ट को लेकर पत्रकारों से बात करते हुए कहा कि ये टेस्ट 9 मई को अल कादिर ट्रस्ट केस में इमरान की गिरफ्तारी के बाद पाकिस्तान इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज ने किए थे.